नई दिल्ली
केंद्रीय युवा मामले एवं खेल मंत्री मनसुख मांडविया ने बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रति आभार जताया। दरअसल, केंद्रीय मंत्रिमंडल ने अहमदाबाद में कॉमनवेल्थ गेम्स (CWG) 2030 की मेजबानी के लिए भारत की आधिकारिक बोली लगाने को मंज़ूरी दे दी है।
एक्स (X) पर पोस्ट करते हुए मांडविया ने लिखा—
“मैं प्रधानमंत्री श्री @NarendraModi जी का हृदय से आभार व्यक्त करता हूँ कि युवा मामले एवं खेल मंत्रालय के प्रस्ताव को मंत्रिमंडल से मंज़ूरी मिली है। अहमदाबाद में CWG 2030 आयोजित करने की बोली भारत की ओर से लगाई जाएगी। मोदी जी के कुशल नेतृत्व में पिछले 11 वर्षों में भारत ने खेल महाशक्ति बनने की दिशा में अद्भुत प्रगति की है। यह निर्णय दर्शाता है कि हम अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं की मेजबानी के लिए पूरी तरह तैयार हैं।”
सरकार ने साथ ही Host Collaboration Agreement (HCA) पर हस्ताक्षर करने, संबंधित मंत्रालयों और विभागों से आवश्यक गारंटी देने तथा गुजरात सरकार को आवश्यक अनुदान उपलब्ध कराने को भी मंज़ूरी दी है।
इन खेलों में 72 देशों के खिलाड़ी हिस्सा लेंगे। हजारों एथलीट्स, कोच, तकनीकी अधिकारी, मीडिया प्रतिनिधि और पर्यटक भारत आएंगे, जिससे स्थानीय व्यवसायों को बढ़ावा मिलेगा और बड़े पैमाने पर राजस्व उत्पन्न होगा।
अहमदाबाद—आदर्श मेज़बान शहर
अहमदाबाद को विश्वस्तरीय स्टेडियम, अत्याधुनिक प्रशिक्षण सुविधाओं और गहरी खेल संस्कृति के कारण आदर्श मेजबान शहर माना जा रहा है। दुनिया का सबसे बड़ा नरेंद्र मोदी स्टेडियम पहले ही अपनी क्षमता साबित कर चुका है, जिसने 2023 आईसीसी क्रिकेट वर्ल्ड कप का फाइनल सफलतापूर्वक आयोजित किया था।
खेलों से परे बड़ा असर
सीडब्ल्यूजी की मेजबानी भारत में पर्यटन को गति देगी, युवाओं के लिए रोज़गार सृजित करेगी और लाखों उभरते एथलीट्स को प्रेरित करेगी। साथ ही, खेल विज्ञान, इवेंट मैनेजमेंट, लॉजिस्टिक्स, ब्रॉडकास्टिंग, मीडिया, आईटी, संचार और पब्लिक रिलेशन जैसे क्षेत्रों में भी विशेषज्ञों को बड़े अवसर मिलेंगे।
राष्ट्रीय गर्व और एकता का प्रतीक
इतना बड़ा अंतरराष्ट्रीय आयोजन न केवल भारत की खेल क्षमता को मजबूत करेगा, बल्कि राष्ट्रीय गर्व और एकता की भावना को भी बढ़ाएगा। इससे नई पीढ़ी के खिलाड़ियों को खेलों में करियर बनाने की प्रेरणा मिलेगी और जमीनी स्तर पर भागीदारी को प्रोत्साहन मिलेगा।
अगर भारत की यह बोली सफल रहती है तो यह देश का दूसरा कॉमनवेल्थ गेम्स होगा। इससे पहले 2010 में नई दिल्ली ने इन खेलों की मेजबानी की थी। यह प्रस्ताव भारत को वैश्विक खेल मंच पर और सशक्त बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।