नई दिल्ली
पश्चिम अफ्रीकी देश माली में आतंकवादियों द्वारा तीन भारतीय नागरिकों के अपहरण की घटना के बाद भारत सरकार ने गहरी चिंता जताते हुए माली प्रशासन से उनकी "सुरक्षित और शीघ्र रिहाई" सुनिश्चित करने की अपील की है।
विदेश मंत्रालय (MEA) के अनुसार, यह घटना 1 जुलाई को माली के कायेस क्षेत्र स्थित डायमंड सीमेंट फैक्टरी में हुई, जहां तीन भारतीय कर्मचारी कार्यरत थे। सशस्त्र आतंकवादियों के एक समूह ने फैक्टरी परिसर पर सुनियोजित हमला कर इन भारतीय नागरिकों को जबरन अगवा कर लिया।
सरकार ने आधिकारिक बयान में कहा,"हम माली सरकार से अपील करते हैं कि वह भारतीय नागरिकों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए उनकी रिहाई के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए।"
हालांकि, अब तक इस अपहरण की जिम्मेदारी किसी संगठन या समूह ने आधिकारिक रूप से नहीं ली है। लेकिन इसी बीच अल-कायदा से संबद्ध आतंकी संगठन 'जमात नुसरत अल-इस्लाम वल-मुस्लिमीन (JNIM)' ने मंगलवार को माली में हुए समन्वित आतंकी हमलों की जिम्मेदारी ज़रूर ली है, जिससे आशंका जताई जा रही है कि भारतीयों के अपहरण के पीछे भी इसी गुट का हाथ हो सकता है।
इस घटना ने क्षेत्र में बढ़ते सुरक्षा संकट को उजागर कर दिया है और भारत सरकार अब माली स्थित भारतीय मिशन के माध्यम से हर संभव राजनयिक और व्यावहारिक प्रयास कर रही है।
फिलहाल, अपहृत भारतीयों की पहचान और स्वास्थ्य की स्थिति के बारे में कोई जानकारी नहीं मिल पाई है। विदेश मंत्रालय घटना पर नजर बनाए हुए है और स्थिति पर लगातार अपडेट दे रहा है।