Ganeshotsav 2025: Ganesh pandals decorated on the theme of 'Operation Sindoor', unique forms seen across the country
अर्सला खान/नई दिल्ली
देशभर में गणेशोत्सव की धूम मचने लगी है. भगवान गणपति के स्वागत में इस बार पंडालों में भक्ति और आस्था के साथ-साथ देशभक्ति, विज्ञान और सामाजिक संदेशों का संगम देखने को मिल रहा है. तेलंगाना में एक पंडाल ने सबका ध्यान खींचा है, जहां गणपति को सेना की वर्दी में और उनके वाहन मूषक को राइफल थामे सैनिक की तरह सजाया गया है. यह पंडाल इस साल भारतीय सेना द्वारा चलाए गए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ से प्रेरित है, जिसने न सिर्फ दुश्मनों को जवाब दिया बल्कि भारत की सैन्य ताकत को भी पूरी दुनिया में प्रदर्शित किया.
तेलंगाना का ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पंडाल: भक्ति में घुला देशभक्ति का रंग
तेलंगाना के इस खास पंडाल में गणपति बप्पा सैनिक की वर्दी पहने खड़े हैं और उनकी मूर्ति के आसपास ऑपरेशन सिंदूर से जुड़ी झलकियां दिखाई गई हैं. उनके वाहन मूषक को भी हाथ में राइफल लिए जवान की तरह दिखाया गया है. आयोजकों का कहना है कि यह थीम उन सैनिकों को समर्पित है, जो देश की रक्षा के लिए अपने प्राण न्यौछावर करते हैं. लोगों में यह पंडाल खास आकर्षण का केंद्र बना हुआ है और श्रद्धालु यहां आकर न सिर्फ बप्पा के दर्शन कर रहे हैं बल्कि भारतीय सेना के साहस को भी सलाम कर रहे हैं.
लालबागचा राजा: पर्यावरण संरक्षण का संदेश
मुंबई का सबसे चर्चित और प्रतीक्षित पंडाल लालबागचा राजा हर बार अपनी भव्यता और संदेशों के लिए प्रसिद्ध होता है. इस बार यहां पर्यावरण संरक्षण की थीम पर जोर दिया गया है. पूरे पंडाल को इको-फ्रेंडली सजावट से तैयार किया गया है. प्लास्टिक का पूरी तरह से बहिष्कार किया गया है और हरियाली को बढ़ावा देने के लिए पौधों और प्राकृतिक सजावट का उपयोग किया गया है. श्रद्धालुओं को यहां यह संदेश दिया जा रहा है कि भक्ति के साथ-साथ हमें प्रकृति की रक्षा करना भी जरूरी है.
पुणे का दगडूशेठ हलवाई गणपति: अयोध्या राम मंदिर की झलक
पुणे का ऐतिहासिक दगडूशेठ हलवाई गणपति इस साल अयोध्या राम मंदिर की झलक दिखा रहा है. पंडाल को बिल्कुल राम मंदिर जैसा बनाया गया है, जिसकी भव्यता श्रद्धालुओं को अयोध्या जैसा अनुभव करा रही है. यहां दर्शन करने वाले भक्तों का कहना है कि पंडाल के भीतर प्रवेश करते ही ऐसा लगता है जैसे वे सीधे अयोध्या में पहुंच गए हों.
चंद्रयान-3 और गगनयान मिशन पर आधारित पंडाल
इस साल गणेशोत्सव में विज्ञान और तकनीकी उपलब्धियां भी थीम का हिस्सा बनी हैं. मुंबई और ठाणे के कई पंडालों में चंद्रयान-3 की सफलता और गगनयान मिशन की तैयारियों को सजावट के रूप में दिखाया गया है. पंडालों के भीतर रॉकेट, चंद्रमा की सतह और अंतरिक्ष यात्री जैसी आकृतियां बनाई गई हैं, जिससे श्रद्धालुओं में भारतीय वैज्ञानिक उपलब्धियों पर गर्व की भावना जाग रही है.
सामाजिक संदेशों वाले गणेश पंडाल
कई जगहों पर पंडालों ने सामाजिक मुद्दों को थीम बनाया है. कहीं महिलाओं की सुरक्षा पर संदेश दिए जा रहे हैं, तो कहीं शिक्षा और स्वच्छता पर जोर दिया गया है. आयोजकों का कहना है कि गणेशोत्सव सिर्फ धार्मिक उत्सव नहीं बल्कि समाज को जागरूक करने का अवसर भी है. महाराष्ट्र, गुजरात और कर्नाटक के कई पंडालों में पानी बचाने, बेटियों को पढ़ाने और नशामुक्ति जैसे अभियानों पर आधारित थीमें देखने को मिल रही हैं.
📍 Thane |
The arrival of Ganraya by Narveer Tanaji Ganeshotsav Mandal, known as the “King of Thane”, was celebrated with great enthusiasm and music today.
This marks the 47th year of the mandal, which will host various events over the next ten days at the Ganraya mandap.
27 अगस्त से शुरू हो रहे दस दिवसीय गणेशोत्सव में लाखों श्रद्धालुओं के पहुंचने की उम्मीद है. मुंबई, पुणे, नागपुर, हैदराबाद और बेंगलुरु जैसे बड़े शहरों में खास तौर पर भारी भीड़ उमड़ने वाली है. इसे देखते हुए पुलिस और प्रशासन ने सुरक्षा के कड़े इंतज़ाम किए हैं। सीसीटीवी कैमरे, बम डिटेक्शन स्क्वॉड और मेडिकल टीम लगातार निगरानी में रहेंगे. इसके अलावा ट्रैफिक मैनेजमेंट पर भी विशेष ध्यान दिया गया है ताकि श्रद्धालुओं को किसी तरह की असुविधा न हो.
गणेशोत्सव का यह रूप दर्शाता है कि कैसे समय के साथ त्योहारों ने समाज के बदलते स्वरूप को अपनाया है. एक ओर भव्य मूर्तियां और पारंपरिक रीति-रिवाज हैं, तो दूसरी ओर आधुनिक मुद्दे, वैज्ञानिक उपलब्धियां और पर्यावरण की चिंता भी शामिल हो गई है. यही कारण है कि गणेशोत्सव आज न सिर्फ धार्मिक बल्कि सांस्कृतिक और सामाजिक दृष्टि से भी बेहद महत्वपूर्ण बन चुका है.
PTI PHOTOS | Preparations for Ganesh Chaturthi underway in Nagpur, Navi Mumbai, Hyderabad and Mumbai where the iconic ‘Lalbaugcha Raja’ idol of Lord Ganesha was unveiled ahead of the festival. pic.twitter.com/v7jTN1ga71
तेलंगाना का ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पंडाल, मुंबई का पर्यावरण संदेश देने वाला लालबागचा राजा, पुणे का राम मंदिर रूपी दगडूशेठ हलवाई गणपति और अंतरिक्ष मिशनों पर आधारित पंडाल. कुल मिलकर यह साबित करते हैं कि गणेशोत्सव केवल भक्ति का नहीं बल्कि राष्ट्रभक्ति, समाज सेवा और जागरूकता का भी पर्व है.