Justice Reddy claims to have received 'cooperation' from parties other than the 'India' alliance
आवाज द वॉयस/नई दिल्ली
उपराष्ट्रपति पद के लिए इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इंक्लूसिव अलायंस (इंडिया) के उम्मीदवार न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) बी. सुदर्शन रेड्डी ने खुद को ‘इंडिया’ गठबंधन से इतर राजनीतिक दलों का भी समर्थन मिलने का दावा करते हुए मंगलवार को सभी सियासी पार्टियों के सांसदों से अपील की कि वे दलगत भावना से ऊपर उठकर 'गुण—दोष' के आधार पर उनकी उम्मीदवारी के बारे में सोचें.
‘इंडिया’ गठबंधन के अहम घटक दलों- कांग्रेस और सपा के नेताओं से विचार—विमर्श के लिए लखनऊ आये न्यायमूर्ति रेड्डी ने सपा प्रमुख अखिलेश यादव के साथ संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस में कहा, ‘‘प्रतिपक्षी दलों ने मुझ पर विश्वास किया है और मैं इसके लिए बहुत-बहुत आभारी हूं. मुझे मालूम है ‘इंडिया’ गठबंधन के घटक दलों के साथ—साथ, वे लोग भी सहयोग के लिए आगे आ रहे हैं, जो इस गठबंधन में शामिल नहीं है.
न्यायमूर्ति रेड्डी ने कहा, ''मैं सभी राजनीतिक दलों के सांसदों से अपील करता हूं कि दलगत भावनाओं से ऊपर उठकर गुण—दोष के आधार पर मेरी उम्मीदवारी के बारे में सोचें.
उन्होंने कहा कि वह हमेशा से संविधान की प्रस्तावना की मूल भावना के साथ खड़े रहे और पूरे देश को आश्वस्त करना चाहते हैं कि वह आगे भी पूरी मजबूती से खड़े रहेंगे.
न्यायमूर्ति रेड्डी ने कहा कि उपराष्ट्रपति का पद राजनीतिक नहीं, बल्कि उच्च संवैधानिक ओहदा है. उन्होंने कहा, ‘‘आप लोगों में से कुछ लोग मुझसे पूछते हैं कि मैंने क्यों राजनीतिक अखाड़े में कदम रखा है। मेरा कहना है कि मैंने किसी राजनीतिक मैदान में कदम नहीं रखा है. यह (उपराष्ट्रपति का पद) उच्च संवैधानिक पद है, जिस पर पहले कभी दार्शनिक, राष्ट्रकर्मी और शिक्षाविद् रह चुके हैं.
उन्होंने कहा, ‘‘शिक्षाविद् डॉक्टर सर्वपल्ली राधाकृष्णन, डॉक्टर जाकिर हुसैन, पूर्व राजनयिक डॉक्टर के. आर. नारायणन और बाद में श्री हामिद अंसारी जी। ये लोग मेरे लिए प्रेरणास्रोत हैं। ये जिस पद पर बैठे, मुझे उसका उम्मीदवार बनाया गया है, इसके लिए मैं सभी विपक्षी दलों का शुक्रगुजार हूं.’
न्यायमूर्ति रेड्डी ने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह द्वारा उन्हें नक्सलवाद का समर्थक बताये जाने के मुद्दे पर बहस को आगे बढ़ाने से इनकार करते हुए कहा कि वह इस पर अपनी प्रतिक्रिया पहले ही दे चुके हैं। शाह उनके खिलाफ एक 'विमर्श' गढ़ना चाहते हैं.