MP Udayanraje Bhosale participated in the 'Masjid Parichay' organized at the Shahi Masjid
समीर शेख
विभिन्न धार्मिक समुदायों के बीच के अविश्वास को कम करने, और उनमें सद्भाव बढ़ाने के लिए सातारा में एक अनोखी पहल की गयी . सातारा के शाही मस्जिद में सातारा बैतुलमाल कमिटीद्वारा आयोजित ‘मस्जिद परिचय’ उपक्रम में विभिन्न धर्मों के नागरिकोंने शिरकत की. लोगों ने इस्लाम के बारे में और मस्जिद में इबादत यानी नमाज के बारे में जानकारी हासिल की. इस अवसर पर आयोजकों ने लोगों के विभिन्न प्रश्नों के उत्तर दिये, उन्हें कई नयी जानकारी दी, जिसे सुनकर और देखकर उपस्थित गैर मुस्लिम बड़े उत्साहित और प्रसन्न नजर आये.
सुबह दस बजे इस कार्यक्रम की शुरुवात . सबसे पहले मस्जिद में आये नागरिकों का स्वागत किया गया और उन्हें मस्जिद में दिन भर में होनेवाली गतिविधियां, खासकर नमाज़ के बारे में जानकारी दी गयी. पुणे से आए इम्तियाज शेख और करीमुद्दीन शेख इन दोनों ने उन्हें अजान के मानी, मस्जिद का महत्व, वहां प्रार्थना कैसे कि जाती है, मस्जिद के विभिन्न हिस्से आदि के बारे में जानकारी दी.
सांसद उदयनराजे भोसले और विधायक शिवेंद्रसिंहराजे भोसले इस कार्यक्रम में विशेष रूप से उपस्थित थे. . इस मौके पर उदयनराजे ने कहा, ''छत्रपति शिवाजी महाराजने सर्व-धर्म समभाव के अलमबरदार थे. उनका स्वराज्य इसी पर आधारित था. एक ज़माने में समाज एक परिवार हुआ करता था, पर आज लोगो को समाजहित कि पर्वा नही है. 'मस्जिद' परिचय' निश्चित रूपसे समुदाय के लिए एक प्रेरक पहल है."
इस पहल की सराहना करते हुए उन्होंने कहा, "भारत को दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के रूप में देखा जाता है. हालांकि, आज अगर कोई जाति और धर्म के आधार पर समाज को बाँटता है , तो इस देश के टुकड़े-टुकड़े होने में ज्यादा समय नहीं लगेगा. मै किसी भी पूजा स्थल पर जाने के बाद यही प्रार्थना करता हूं कि व्यक्ति-केंद्रित लोगो को भगवान सद्बुद्धी दें. 'मस्जिद परिचय' कार्यक्रम के पीछे भी यही मंशा है. मैं इस कार्यक्रम के आयोजन के लिए शाही मस्जिद कमेटी का धन्यवाद करता हूं. ऐसे कार्यक्रम देश के कोनेकोने में नियमित रूप से आयोजित होने चाहिए."
कार्यक्रम के आयोजक हाजी शकील हारुन शेखने इस आयोजन का मकसद बताते हुए कहा, "हमारा देश विभिन्न जातियों, धर्मों का देश है. सांप्रदायिक सद्भाव कायम करने के लिए सभी धर्मों के बारे में जानना आवश्यक है. इसी दिशा में पहल करने के लिए , 'मस्जिद परिचय' का सातारा में आयोजन किया गया था. नागरिकों के मन में मस्जिदों को लेकर कौतूहल, उत्सुकता थी. उनके मन में कई सवाल भी थे. ऐसे आयोजनों से इन सवालों का समाधान किया जा सकता है."
इस कार्यक्रम के लिये मस्जिद में आये और पेशे से चार्टर्ड अकाउंटेंट सड़ेकर जी ने बड़े उत्साह से अपने अनुभवों के बारे में जानकारी दी. उन्होंने कहा, "आज शाही मस्जिद में से इस्लाम के बारे में अच्छी जानकारी मिली.
इस्लाम धर्म, कुरान, तीन तलाक, जिहाद, बहुविवाह, ईद पर बकरे की कुर्बानी, उनके खाना पकाने का तरीका, एक थाली में खाने का तरीका, इस्लाम में जातिया, महिलाओं का बुरखा, मदरसों में शिक्षा, दाढ़ी बढ़ाना, पठानी कपड़े पहनना ऐसे मुद्दोपर खुलकर और विस्तार से चर्चा की गई. गलतफहमियां दूर करने और आपसी मेलजोल बढ़ाने के लिए अलग-अलग जगहों पर इसी तरह के कार्यक्रम आयोजित किए जाने चाहिए. इससे आपसी विश्वास बढेगा."
कार्यक्रम में मौजूद उमेश झोडेने कहा, ''मस्जिद परिचय' कार्यक्रम के जरिए मस्जिद में क्या होता है, किस लिए प्रार्थना की जाती है, ऐसे कई सवालों के जवाब मिले. मस्जिद में महिलाओं को जाने की इजाजत नहीं होती, अन्य धर्म कें लोग मस्जिद में प्रवेश नहीं कर सकते, ऐसी कई गलतफहमियों को दूर करने के लिए ऐसे कार्यक्रमो की आवश्यकता है. इस कार्यक्रम के वजह से मस्जिद के बारे में हमारी गलतफहमियां दूर हो गई हैं और हमारे मन में विश्वास का माहौल बन गया है.हर गांव कस्बों में ऐसे कार्यक्रम आयोजित किए जाने चाहिए."
सातारा में हमेशा से ही सद्भाव रहा है : विधायक शिवेंद्र सिंह राजे
विधायक शिवेंद्रसिंहराजे भोसले ने अपनी राय व्यक्त करते हुए कहा कि, ‘सातारा के हिंदू-मुस्लिम भाइयों ने हमेशा सौहार्द बनाए रखा है और यह परंपरा आज भी जारी है. मस्जिद में क्या होता है, नमाज क्यों पढ़ी जाती है,
इन जैसे कई प्रश्नों के उत्तर मुझे इस कार्यक्रम से मिले.” इस कार्यक्रम में सातारा के नागरिक उत्साह से शरीक हुए, जिनमे अधिकांश हिन्दू थे. उन्होंने कई सवाल पूछे और उनके जवाब पाकर उन्हें प्रसन्नता भी हुई . सातारा के नागरिकों ने इस कार्यक्रम के आयोजन के लिए बैतुलमाल कमेटी और मुस्लिम भाइयों को धन्यवाद दिया.
क्या है 'बैतुलमाल कमेटी'?
सातारा बैतुलमाल समिति की स्थापना 2019 में हुई. बैतुलमाल एक इस्लामी धार्मिक अवधारणा है. बैतुलमाल एक राहत कोष जुटाने वाली संस्था है. कोरोना काल में नागरिकों की मदद के उद्देश्य से शुरू की गई यह संस्था आज भी आम नागरिकों के विभिन्न मुद्दों पर काम कर रही है. संस्था के माध्यम से सातारा में रोज लगभग 300 से अधिकजरूरतमंद लोगों को भोजन उपलब्ध कराया जाता है. लोगों को उचित इलाज पाने के लिए बैतुलमाल कमिटी स्वास्थ्य सहायता भी प्रदान करती है.