लंदन
असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने ब्रिटिश म्यूजियम के साथ 'लेटर ऑफ इंटेंट' पर हस्ताक्षर किए हैं, जिसके तहत पवित्र वृंदावनी वस्त्र को असम में लोन व्यवस्था के तहत वापस लाया जाएगा।
मुख्यमंत्री सरमा ने X (पूर्व ट्विटर) पर साझा किया कि यह कदम असम की अनंत सांस्कृतिक और आध्यात्मिक विरासत से जुड़ाव को मजबूत करता है।
उन्होंने कहा, "वृंदावनी वस्त्र केवल एक वस्त्र नहीं है, यह असम की समृद्ध आध्यात्मिक और सांस्कृतिक विरासत का प्रतीक है, जो महापुरुष श्रीमंत शंकरदेव की भक्ति और दृष्टि को दर्शाता है। ब्रिटिश म्यूजियम के साथ इसे लोन पर वापस लाने के लिए हस्ताक्षर करना हमारे लिए एक ऐतिहासिक पल है। यह हमारे प्रदेश की अनमोल धरोहर को उसके वास्तविक घर लौटाने जैसा है।"
सरमा ने लेटर ऑफ इंटेंट भी साझा किया और लिखा, "यह घर लौट रहा है… देखें हमने ब्रिटिश म्यूजियम के साथ किस तरह से इसे असम लाने के लिए हस्ताक्षर किए।"
वृंदावनी वस्त्र में भगवान श्री कृष्ण की रास लीला गोकुलियों के साथ दर्शाई गई है और इसके जटिल बुनाई और दिव्य चित्र असम की अद्वितीय कारीगरी और आध्यात्मिक विरासत को प्रदर्शित करते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि इसे असम लाना हमारे अनंत संस्कृति के प्रति श्रद्धांजलि के समान है।
सरमा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार व्यक्त किया, जिन्होंने उन्हें वृंदावनी वस्त्र को वापस लाने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा, "गुवाहाटी में एक अत्याधुनिक संग्रहालय बन रहा है, जो इस पवित्र खजाने को सम्मान देगा।"
यह वस्त्र भगवान कृष्ण के दस अवतारों (दसावतार) और उनके बचपन के दृश्य को दर्शाता है और इसे असम की धरोहर और भक्ति का अनमोल प्रतीक माना जाता है। मुख्यमंत्री सरमा ने बताया कि म्यूजियम इसे 2027 में 18 महीनों के लिए लोन पर देने को तैयार है।






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