टीपू सुल्तान या कृष्णराज वाडियार? मैसूरु हवाईअड्डे के नामकरण को लेकर बहस हुई गर्म

Story by  एटीवी | Published by  [email protected] | Date 17-12-2023
Tipu Sultan or Krishnaraj Wadiyar? Heated debate over naming of Mysuru airport
Tipu Sultan or Krishnaraj Wadiyar? Heated debate over naming of Mysuru airport

 

बेंगलुरु. मैसूर हवाईअड्डे का नाम टीपू सुल्तान के नाम पर रखने के प्रस्ताव के बाद सत्तारूढ़ कांग्रेस और भाजपा आमने-सामने है. बीजेपी इकाई पूरी ताकत से इस प्रस्ताव का विरोध कर रही है. आरडीपीआर, आईटी और बीटी मंत्री प्रियांक खड़गे ने प्रस्ताव रखा और कांग्रेस विधायक प्रसाद अब्बैया ने शीतकालीन सत्र में इस मुद्दे को उठाया. आवास मंत्री बी.जेड. जमीर अहमद खान और अन्य ने प्रस्ताव का समर्थन किया.

कांग्रेस के सूत्र बताते हैं कि पार्टी भाजपा का मुकाबला करने के लिए मैसूरु हवाई अड्डे का नाम टीपू के नाम पर रखना चाहती है. बीजेपी ने टीपू एक्सप्रेस ट्रेन का नाम बदलकर वाडियार एक्सप्रेस कर दिया था. भाजपा ने पाठ्य पुस्तकों के पाठ्यक्रम से 'मैसूर टाइगर' शीर्षक भी हटा दिया था. बीएस येदियुरप्पा के नेतृत्व वाली बीजेपी सरकार ने राज्य में टीपू जयंती मनाने पर रोक लगा दी थी.

मुख्यमंत्री सिद्दारमैया के नेतृत्व में कांग्रेस सरकार ने 2015 में कर्नाटक में टीपू जयंती मनाने की शुरुआत की थी. सूत्रों का कहना है कि सिद्दारमैया सरकार इस पृष्ठभूमि में मैसूरु हवाई अड्डे का नाम टीपू सुल्तान के नाम पर रखने पर गंभीरता से विचार कर रही है.

हालांकि, मुख्यमंत्री सिद्दारमैया और डिप्टी सीएम डी.के. शिवकुमार इस मुद्दे पर चुप्पी साधे हुए हैं. सूत्र बताते हैं कि वे इस पर विचार कर रहे हैं. बीजेपी इस मुद्दे का इस्तेमाल राज्य में हिंदू वोटों के ध्रुवीकरण के लिए करेगी क्योंकि लोकसभा चुनाव करीब आ रहे हैं.

बीजेपी विधायक बसनगौड़ा पाटिल यत्नाल ने यह कहकर विवाद खड़ा कर दिया कि सार्वजनिक शौचालय के लिए टीपू सुल्तान का नाम रखा जाना चाहिए. उन्होंने आग्रह किया कि हवाई अड्डे का नाम मैसूर के पूर्व शासक नलवाडी कृष्णराज वाडियार के नाम पर रखा जाना चाहिए.

विधायक यत्नाल ने आगे कहा कि कांग्रेस नेता टीपू सुल्तान के बारे में बात करते हैं, जिसने लाखों हिंदुओं का नरसंहार किया था. उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश ने कहा था कि टीपू सुल्तान स्वतंत्रता सेनानी नहीं थे, वह एक राजा था. उन्होंने कहा, मुख्य न्यायाधीश ने अदालत में उल्लेख किया कि टीपू सुल्तान ने लाखों हिंदुओं की हत्या की और 4,000 हिंदू मंदिरों को नष्ट कर दिया.

कांग्रेस नेताओं, खासकर सीएम सिद्दारमैया ने इस बात पर जोर दिया कि टीपू सुल्तान एक शहीद थे जिन्होंने देश के लिए अपना जीवन बलिदान कर दिया. उन्होंने यह भी कहा कि टीपू सुल्तान एक धर्मनिरपेक्ष व्यक्ति थे और दक्षिणपंथी राजनीतिक लाभ के लिए उन्हें एक कट्टरपंथी के रूप में पेश कर रहे हैं.

सिद्दारमैया ने कहा कि टीपू ने अंग्रेजों के साथ युद्ध लड़ा था और इन आरोपों से इनकार किया कि उन्होंने हिंदू मंदिरों को नष्ट किया और हिंदुओं को मार डाला.

हालांकि, लोकसभा चुनाव को देखते हुए कांग्रेस सरकार फूंक-फूंक कर कदम रख रही है. सिद्धारमैया, जिन्होंने पिछले कार्यकाल के दौरान टीपू सुल्तान जयंती को भव्य पैमाने पर मनाया था, ने भव्य समारोहों को फिर से शुरू करने की कोशिश नहीं की. भारी पुलिस सुरक्षा के बीच, ऐतिहासिक शहर श्रीरंगपट्टनम के समर पैलेस में टीपू जयंती समारोह आयोजित किया गया.

एक्सपर्ट का कहना है, ''राज्य में भाजपा और जद (एस) के एक साथ आने से विपक्ष कांग्रेस के खिलाफ मजबूत दिख रहा है. विपक्ष के नेता आर अशोक पहले ही कह चुके हैं कि कर्नाटक में हिंदुओं को दोयम दर्जे का नागरिक माना जा रहा है. मैसूरु हवाई अड्डे का नाम बदलने का प्रस्ताव पहले ही गंभीर मोड़ ले चुका है और इससे आगे राज्य की राजनीति में भूचाल आने की संभावना है.''