नई दिल्ली
सरकारी सूत्रों ने स्पष्ट किया है कि भारत कश्मीर मुद्दे पर किसी भी तरह की बातचीत के लिए तैयार नहीं है. अब भारत के अनुसार केवल पाकिस्तान के कब्जे वाले जम्मू-कश्मीर (पीओजेके) का ही मुद्दा शेष रह गया है.
सूत्रों के हवाले से कहा गया है,"भारत कश्मीर के मसले पर कोई बातचीत नहीं करेगा. अब केवल पीओजेके का विषय शेष है. सैन्य कार्रवाई की समाप्ति से जुड़ी बातचीत केवल डीजीएमओ (सैन्य संचालन महानिदेशक) स्तर पर होगी और इसमें किसी तीसरे पक्ष की कोई भूमिका नहीं होगी."
भारत ने 7 मई की सुबह 'ऑपरेशन सिंदूर' शुरू किया था, जिसमें पाकिस्तान और पीओजेके में स्थित नौ आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया. यह कार्रवाई 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले की प्रतिक्रिया में की गई थी, जिसमें एक नेपाली नागरिक सहित 26 निर्दोष नागरिकों की मौत हो गई थी.
इसके बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव तेज़ हो गया. सीमा पार से पाकिस्तान की ओर से भारी गोलाबारी की गई, जिसका भारतीय सेना ने मजबूत जवाब दिया. सीमा पर हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया और हमले के दौरान ब्लैकआउट की व्यवस्था की गई.
शनिवार को भारत के विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने बताया कि पाकिस्तान के डीजीएमओ ने अपने भारतीय समकक्ष से संपर्क किया और दोनों देशों ने 11 मई की शाम 5 बजे से ज़मीन, समुद्र और हवा में सभी सैन्य कार्रवाइयों को रोकने पर सहमति जताई.
इस संघर्षविराम को लागू करने के निर्देश दिए गए हैं, और 12 मई की दोपहर को डीजीएमओ-स्तरीय वार्ता का एक और दौर तय किया गया है.
हालांकि, दोनों देशों के बीच हुई सहमति के कुछ ही घंटों बाद पाकिस्तान द्वारा समझौते का उल्लंघन किए जाने की खबर सामने आई. भारत की वायु रक्षा प्रणाली ने श्रीनगर में ब्लैकआउट के बीच एक पाकिस्तानी ड्रोन को रोक लिया.
इस पर भारत ने पाकिस्तान से गंभीरता और जिम्मेदारी के साथ व्यवहार करने और संवेदनशील स्थिति को और न बिगाड़ने की अपील की है.