हिमंत बिस्व शर्मा का आरोप — कांग्रेस के तुष्टीकरण से ‘सत्र’ भूमि पर हुआ व्यापक अतिक्रमण

Story by  PTI | Published by  [email protected] | Date 27-06-2025
Himanta Biswa Sharma's allegation - Due to appeasement by Congress, there was widespread encroachment on 'Satra' land
Himanta Biswa Sharma's allegation - Due to appeasement by Congress, there was widespread encroachment on 'Satra' land

 

गुवाहाटी

असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व शर्मा ने शुक्रवार को आरोप लगाया कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के अवैध प्रवासियों को तुष्ट करने की नीति के चलते राज्य में 13,000 बीघा (लगभग 4,300 एकड़) से अधिक ‘सत्र’ भूमि — यानी वैष्णव मठों की जमीन — पर अतिक्रमण हो गया।

मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि भाजपा नेतृत्व वाली राज्य सरकार इन धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व की संस्थाओं की भूमि को पुनः प्राप्त करने के लिए प्रतिबद्ध है।

शर्मा ने सोशल मीडिया मंच 'एक्स' पर पोस्ट करते हुए लिखा:"कांग्रेस सरकार ने अपने अवैध प्रवासी वोट बैंक को खुश करने के लिए स्वदेशी असमिया लोगों की भावनाओं की अनदेखी की, जिसके परिणामस्वरूप 922 सत्रों की भूमि पर अतिक्रमण हो गया।"

उन्होंने बताया कि राज्य के कई जिलों में हजारों बीघा सत्र भूमि पर कब्जा कर लिया गया है, जिनमें प्रमुख रूप से शामिल हैं:

  • बारपेटा: 7,137 बीघा (2,355.21 एकड़)

  • नागांव: 2,583.79 बीघा (852.66 एकड़)

  • बाजाली: 2,757.39 बीघा (909.94 एकड़)

  • लखीमपुर: 896.76 बीघा (295.94 एकड़)

मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा,“हमारा मिशन इन पवित्र और ऐतिहासिक जमीनों को पुनः प्राप्त करना है।”

उन्होंने यह भी बताया कि राज्य सरकार जल्द ही सत्रों के संरक्षण और विकास के लिए एक स्थायी ‘सत्र आयोग’ गठित करेगी। अभी तक यह कार्य अस्थायी सत्र आयोग के माध्यम से किया जा रहा है, जिसकी हालिया बैठक में शर्मा ने भाग लिया।

मुख्यमंत्री के अनुसार, यह स्थायी आयोग सत्रों को संस्थागत मजबूती देगा और उनकी भूमि, परंपरा व गतिविधियों की रक्षा करेगा।