गुलाम नबी आजाद ने दिए लोकसभा चुनाव नहीं लड़ने के संकेत

Story by  आवाज़ द वॉयस | Published by  [email protected] | Date 17-02-2024
Ghulam Nabi Azad
Ghulam Nabi Azad

 

जम्मू. वरिष्ठ राजनीतिक नेता गुलाम नबी आजाद ने शनिवार को संकेत दिया कि वह आगामी लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे, क्योंकि वह अपनी नवगठित डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव आजाद पार्टी (डीपीएपी) के उम्मीदवारों के लिए प्रचार करेंगे. 2014 के लोकसभा चुनावों में अपनी हार के बाद लोकसभा चुनाव लड़ने से परहेज करने वाले आजाद ने अपनी पार्टी के लोगों से कमर कसने को कहा, क्योंकि 2024 जम्मू-कश्मीर के लिए चुनावी वर्ष होगा.

नगरोटा में एक समारोह के इतर पत्रकारों से बात करते हुए, दशकों के जुड़ाव के बाद कांग्रेस से इस्तीफा देने वाले आजाद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से आंदोलनकारी किसानों के मुद्दों को ‘हमेशा के लिए’ हल करने की अपील की, क्योंकि विरोध न तो सरकार और न ही किसान के लिए अच्छा है.

उन्होंने कहा, ‘‘संसद का चुनाव शत-प्रतिशत अपने समय पर हो रहा है और मैं केवल विधानसभा चुनावों (जम्मू-कश्मीर में) के बारे में अनुमान लगा सकता हूं, क्योंकि मेरा चुनाव आयोग या सरकार से कोई संपर्क नहीं है. लेकिन यह (विधानसभा चुनाव) होना ही है, क्योंकि सुप्रीम कोर्ट ने सितंबर तक की समय सीमा तय की है.’’

यह पूछे जाने पर कि क्या वह आगामी लोकसभा चुनाव खुद लड़ेंगे, आजाद ने कहा, ‘‘मुझे अपनी पार्टी (उम्मीदवारों) के लिए प्रचार करना है और अगर मैं चुनाव लड़ता हूं, तो मुझे एक ही स्थान पर रोक दिया जाएगा.’’

अगस्त 2022 में कांग्रेस से अलग होने के बाद आजाद ने जम्मू क्षेत्र में अपनी पार्टी बनाई. राजनीतिक विश्लेषकों का दावा है कि डोडा, किश्तवाड़, बदेरवाह और पुंछ जैसे पीर पंजाल के दक्षिण इलाकों में वोट बैंक रखने वाले आजाद विपक्षी पार्टी के उम्मीदवारों के वोटों को विभाजित करने में सक्षम होंगे.

आजाद ने नेशनल कॉन्फ्रेंस को एक अवसरवादी पार्टी करार दिया, जो सत्ता में आने पर किसी के साथ भी गठबंधन कर सकती है.

चल रहे किसान आंदोलन पर उन्होंने कहा कि यह दूसरी बार है कि विरोध प्रदर्शन बड़े पैमाने पर हो रहा है. उन्होंने कहा, ‘‘मैं प्रधान मंत्री से अपील करता हूं कि वे उनके मुद्दों को हमेशा के लिए हल करें. यह सरकार और किसानों के साथ-साथ उन लोगों के लिए भी अच्छा नहीं है जिन्हें आने-जाने में परेशानी होगी.’’

इससे पहले नगरोटा में रैली को संबोधित करते हुए आजाद ने पंडितों समेत कश्मीर के लोगों से घाटी में अपनी जमीन नहीं बेचने की अपील की. उन्होंने कहा, ‘‘स्थिति में सुधार हो रहा है और हमें (आतंकवादी हमलों की) कभी-कभार होने वाली घटनाओं से घबराना नहीं चाहिए. ऐसे हमले नहीं होने चाहिए, लेकिन यह हकीकत है कि गोलीबारी हर जगह हो रही है, यहां तक कि अमेरिका जैसी सबसे सुरक्षित जगह पर भी. लेकिन कोई भी डर के मारे अपने घरों से नहीं भागता.’’

उन्होंने कहा कि पिछले 10 वर्षों में जम्मू-कश्मीर में कोई विधानसभा चुनाव नहीं हुआ है, जिसमें कई ‘अच्छी और बुरी’ चीजें देखी गईं. उन्होंने कहा, ‘‘अतीत को छोड़कर हमें भविष्य की ओर देखना होगा और देखना होगा कि समाज के सभी वर्गों के लोगों की स्थिति में सुधार के लिए क्या किया जा सकता है.’’

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