जमात-ए-इस्लामी से जुड़े स्कूलों के अधिग्रहण पर राजनीति कर रही है पीडीपी : एनसी विधायक सज्जाद शाहीन

Story by  आवाज़ द वॉयस | Published by  [email protected] | Date 25-08-2025
Jammu and Kashmir: PDP is doing politics over the takeover of schools affiliated to Jamaat-e-Islami – NC MLA Sajjad Shaheen
Jammu and Kashmir: PDP is doing politics over the takeover of schools affiliated to Jamaat-e-Islami – NC MLA Sajjad Shaheen

 

रामबन (जम्मू-कश्मीर)

नेशनल कॉन्फ्रेंस (NC) विधायक सज्जाद शाहीन ने रविवार को पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (PDP) पर आरोप लगाया कि वह सरकार द्वारा प्रतिबंधित जमात-ए-इस्लामी (JeI) और उसकी शैक्षिक इकाई फलाह-ए-आम ट्रस्ट (FAT) से जुड़े स्कूलों का प्रबंधन अपने कब्जे में लेने के फैसले को लेकर राजनीति कर रही है।

शाहीन ने एएनआई से बातचीत में कहा,"पीडीपी इस मुद्दे पर राजनीति कर रही है। 2014 में उन्होंने नारा दिया था कि आरएसएस और बीजेपी को रोकने के लिए उन पर भरोसा करना होगा। लोगों ने उन पर भरोसा किया, लेकिन उन्होंने ही राज्य को आरएसएस के हवाले कर दिया।"

गौरतलब है कि 2014 में त्रिशंकु विधानसभा आने के बाद पीडीपी ने 1 मार्च 2015 को भाजपा के साथ मिलकर गठबंधन सरकार बनाई थी, जिसके मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद बने। शाहीन ने कहा कि उसी गठबंधन की वजह से आज जम्मू-कश्मीर को 5 अगस्त 2019 (अनुच्छेद 370 हटाने और राज्य के दो केंद्र शासित प्रदेशों में बंटवारे) के परिणाम भुगतने पड़ रहे हैं।

इससे पहले, जम्मू-कश्मीर की शिक्षा मंत्री सकीना इत्तू ने भी पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती की आलोचना करते हुए कहा कि पीडीपी को छात्रों के करियर से खिलवाड़ नहीं करना चाहिए। उन्होंने कहा:"लोगों में यह गलतफहमी फैलाई जा रही है कि सरकार ने FAT स्कूलों पर प्रतिबंध लगा दिया है। 2019 के बाद इन स्कूलों की हालत सबके सामने है—न पंजीकरण है, न प्रबंधन समिति। जो लोग सरकार में थे, वही अब सवाल उठा रहे हैं। छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ मत कीजिए।"

शनिवार को महबूबा मुफ्ती ने सरकार द्वारा 215 स्कूलों का प्रबंधन संभालने के फैसले की टाइमिंग पर सवाल उठाया था। उन्होंने कहा था,"पिछले आठ सालों तक कोई कदम नहीं उठाया गया, तो अब क्यों, जब एक लोकप्रिय सरकार चुनी गई है? यह जनता की भावनाओं और शिक्षा व्यवस्था के साथ खिलवाड़ है।"

सरकार के आदेश के अनुसार, इन 215 स्कूलों की प्रबंधन समिति की अवधि समाप्त हो चुकी है और खुफिया एजेंसियों ने भी इसकी रिपोर्ट दी थी। इसी आधार पर, जम्मू-कश्मीर स्कूल एजुकेशन रूल्स 2010 और गैरकानूनी गतिविधियाँ (निवारण) अधिनियम के तहत प्रशासन ने कार्रवाई की।

अब संबंधित जिला मजिस्ट्रेट/डिप्टी कमिश्नर अस्थायी रूप से प्रबंधन संभालेंगे और उचित जांच के बाद नई समिति का गठन करेंगे। आदेश में यह भी कहा गया है कि छात्रों की शिक्षा पर कोई असर न पड़े और उन्हें राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) के मानकों के अनुसार गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिले।