लाहौर
पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में बीते 24 घंटों के दौरान हुई मूसलाधार बारिश ने भारी तबाही मचाई है। बारिश से जुड़ी अलग-अलग घटनाओं में कम से कम 30 लोगों की मौत हो गई है, जिसके बाद प्रांतीय सरकार ने कई जिलों में 'वर्षा आपातकाल' घोषित कर दिया है।
अधिकारियों के अनुसार, सबसे अधिक प्रभावित जिला चकवाल है, जो लाहौर से लगभग 300 किलोमीटर दूर स्थित है। इस क्षेत्र में 423 मिमी बारिश दर्ज की गई है, जिसके कारण अचानक बाढ़ आ गई।
प्रांतीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (PDMA) ने एक बयान में बताया कि चकवाल में बाढ़ में फंसे लोगों को निकालने के लिए सेना और स्थानीय प्रशासन के सहयोग से बचाव अभियान लगातार जारी है। वहीं, नदियों और नालों के जलस्तर में वृद्धि की आशंका को देखते हुए पूरे प्रांत में अलर्ट जारी कर दिया गया है।
PDMA के अनुसार, 26 जून को मानसून की पहली बारिश के बाद से अब तक 170 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें से सबसे अधिक मौतें पंजाब में हुई हैं। बीते 24 घंटों में 300 से अधिक लोग घायल हुए हैं, और 125 से अधिक मकानों को नुकसान पहुंचा है।
सबसे ज्यादा प्रभावित जिले लाहौर, फैसलाबाद, ओकारा, साहीवाल, पाकपट्टन और चकवाल बताए जा रहे हैं।
इस आपदा को देखते हुए पंजाब की मुख्यमंत्री मरियम नवाज ने रावलपिंडी सहित कई क्षेत्रों में आपातकाल घोषित किया है। उन्होंने नागरिकों से सतर्क और सावधान रहने की अपील की है।
पंजाब सरकार की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि "जिला प्रशासन, पुलिस, रेस्क्यू 1122 और अन्य सभी विभाग आपदा से निपटने के लिए पूरी तरह मुस्तैद हैं। अस्पतालों को हाई अलर्ट पर रखा गया है और चिकित्सा सुविधाओं को पूर्ण रूप से तैयार रहने का निर्देश दिया गया है।"