Indian expert Devendra Kumar Sharma became the President of the International Commission on Large Dams (ICOLD)
आवाज द वॉयस/नई दिल्ली
भारत के लिए एक गौरवपूर्ण क्षण में, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बोर्ड के सदस्य देवेंद्र कुमार शर्मा को इंटरनेशनल कमीशन ऑन लार्ज डैम्स (ICOLD) का नया अध्यक्ष चुना गया है. यह चुनाव ICOLD की 93वीं वार्षिक आम सभा और 28वीं कांग्रेस के दौरान गुप्त मतदान के माध्यम से संपन्न हुआ. श्री शर्मा का कार्यकाल जून 2025 से 2028 तक तीन वर्षों का होगा. इस चुनाव में उन्होंने अमेरिका के उम्मीदवार को हराकर यह पद हासिल किया.
ICOLD और भारत का संबंध
ICOLD की स्थापना वर्ष 1928 में पेरिस, फ्रांस में हुई थी और भारत वर्ष 1930 में इस अंतरराष्ट्रीय संस्था का सदस्य बना. वर्तमान में ICOLD के पास 107 सदस्य देश हैं। प्रत्येक सदस्य देश को वार्षिक आम सभा में एक मत देने का अधिकार प्राप्त होता है. यह संस्था विश्व भर में बांधों की योजना, डिज़ाइन, निर्माण और सुरक्षा से जुड़े ज्ञान के आदान-प्रदान के लिए कार्य करती है.
95 वर्षों की लंबी सदस्यता के इतिहास में यह दूसरी बार है जब कोई भारतीय इस संस्था का अध्यक्ष बना है. इससे पहले भी श्री शर्मा ICOLD के एशिया पैसिफिक ग्रुप के अध्यक्ष और “World Declaration on the Role of Dams for Energy Transition and Climate Change Adaptation” के सह-अध्यक्ष रह चुके हैं.
ICOLD की भूमिका
ICOLD का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि बड़े बांधों का निर्माण सुरक्षित, कुशल, आर्थिक और पर्यावरण के अनुकूल ढंग से किया जाए. इसके 29 तकनीकी समितियों में विश्वभर से 600 से अधिक विशेषज्ञ कार्यरत हैं जो तकनीकी बुलेटिन्स के माध्यम से बांध इंजीनियरिंग में नवाचार और जानकारी साझा करते हैं.
भारतीय दृष्टिकोण की वैश्विक पहचान
चुनाव के बाद आम सभा को संबोधित करते हुए श्री शर्मा ने कहा कि विकासशील देश से उनका अध्यक्ष पद पर चुना जाना ICOLD के लिए एक परिवर्तनकारी क्षण है. उन्होंने अपने अनुभव—राज्य और केंद्र सरकारों में कार्य, बांधों और जलविद्युत परियोजनाओं के निर्माण—को साझा करते हुए ICOLD को एक नई दिशा देने की प्रतिबद्धता जताई.
भारत के लिए संभावनाएं
श्री शर्मा का नेतृत्व भारत के लिए न केवल गर्व का विषय है बल्कि यह देश को बांध सुरक्षा, जल संसाधन विकास, ऊर्जा संक्रमण और जलविद्युत परियोजनाओं के क्षेत्र में वैश्विक मंच पर अग्रणी भूमिका निभाने का अवसर भी देगा. उन्होंने लैंगिक विविधता, समावेशन, कम प्रतिनिधित्व वाले देशों की भागीदारी, जलवायु परिवर्तन के प्रभाव, और क्षमता निर्माण जैसे मुद्दों पर भी ध्यान केंद्रित करने की बात कही.
शुरुआत गांव से, पहचान वैश्विक स्तर पर
हिमाचल प्रदेश के बिलासपुर जिले के एक छोटे से गांव से निकलकर श्री देवेंद्र कुमार शर्मा ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का नाम रोशन किया है. उनका चुनाव ना केवल भारत के लिए बल्कि पूरे विकासशील विश्व के लिए प्रेरणास्पद है.