हिज्बुल मुजाहिदीन के दो आंतकियों को पकड़ने वाले मेवात के शहजाद खान राष्ट्रपति मुर्मू के हाथों पुलिस पदक से होंगे सम्मानित

Story by  यूनुस अल्वी | Published by  [email protected] | Date 30-01-2023
 हिज्बुल मुजाहिदीन के दो आंतकियों को पकड़ने वाले मेवात के शहजाद खान राष्ट्रपति मुर्मू के हाथों पुलिस पदक से होंगे सम्मानित
हिज्बुल मुजाहिदीन के दो आंतकियों को पकड़ने वाले मेवात के शहजाद खान राष्ट्रपति मुर्मू के हाथों पुलिस पदक से होंगे सम्मानित

 

यूनुस अलवी / नूंह (हरियाणा )

दिल्ली से तकरीबन पचास किलोमीटर दूर हरियाणा के नूंह जिले के खंड पुन्हाना के गांव इंदाना निवासी एवं दिल्ली की स्पेशल सेल में बतौर असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर शहजाद खान पुलिस के सबसे बड़े अवार्ड पुलिस पदक (पीएमजी) से सम्मानित किए जाएंगे. भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 16 फरवरी को उन्हंे इस पदक से सम्मानित करेंगी.

इस खबर से शहजाद के गांव में खुशी की लहर है. एएसआई शहजाद के अलावा उनकी टीम के एसीपी ललित मोहन नेगी, इंस्पेक्टर प्रदीप कुमार, सब इंस्पेक्टर सुंदर गौतम, सब इंस्पेक्टर शमशेर सिंह, सब इंस्पेक्टर, रघुवीर सिंह, सब इंस्पेक्टर मनोज भाटी को वीरता के लिए पुलिस पदक से सम्मानित किया जाएगा.
 
पुलिस के सबसे बड़े पदक से सम्मानित किए जाने की खबर से हजाद खान बेहद खुश हैं. इस पद से सम्मानित होने वाले शहजाद खान पहले मेव मुस्लिम हैं.
 
बहादुरी की कहानी

बता दें कि प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन हिज्बुल मुजाहिदीन के दो आंतकी शाॅर्प शूटर गुरजीत सिंह उर्फ भा और सुखदीप सिंह उर्फ भूरा को पकड़ने के लिए एसीपी ललित मोहन, एसआई मनोज भाटी, एएसआई शाजाद खान ने 07 दिसंबर 2020 को दिल्ली के शहरपुर के बस स्टैंड के पास सर्विस रोड पर जाल बिछाया गया था. यह जाल खूफिया जानकारी के आधार पर बिछाई गई थी.
 
 एसीपी ललित मोहन ने एसआई मनोज भाटी और एएसआई शाजाद खान के साथ रमेश पार्क बस स्टैंड के सामने मेन रोड पर पोजीशन ली हुई थी. तभी सुबह करीब 6 बजकर 45 मिनट पर संदिग्ध गुरजीत सिंह उर्फ भा और सुखदीप सिंह उर्फ भूरा दो लोगों से मिलने आए. एसीपी ललित मोहन नेगी टीम को अलर्ट कर जैसे ही संदिग्धों को पकड़ने के लिए आगे बढ़े, आरोपी गुरजीत सिंह उर्फ भा और सुखदीप सिंह उर्फ भूरा अलग-अलग दिशाओं में भागने लगे. इस बीच पुलिस दल पर गोलियां भी चलाते रहे.
 
मगर एसीपी ललित मोहन नेगी, एसआई मनोज भाटी व एएसआई शाजाद खान ने बिना जान की परवाह किए आत्मरक्षा में फायरिंग करते हुए और जनता की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अत्यधिक सावधानी बरतते हुए उनका पीछा किया.
 
पुलिस टीम ने तेजी से और समन्वित तरीके से काम करते हुए आखिरकार गुरजीत सिंह उर्फ भा और सुखदीप सिंह उर्फ भूरा को दबोच लिया. तब आरोपियों के कब्जे से एक लोडेड पिस्टल भी बरामद की गई. अब इस कारनामे पर टीम के सारे सदस्य 16 फरवरी को राष्ट्रपति के हाथों सम्मानित होंगे.