Jammu and Kashmir: Controversy over Ashoka Pillar symbol at Hazratbal Dargah in Srinagar
आवाज द वॉयस/नई दिल्ली
केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर की ग्रीष्मकालीन राजधानी श्रीनगर स्थित हजरतबल दरगाह के जीर्णोद्धार पट्टिका पर राष्ट्रीय प्रतीक अशोक स्तंभ अंकित करने से विवाद उत्पन्न हो गया है.
स्थानीय लोगों और नेताओं का कहना है कि मुस्लिम धार्मिक स्थलों पर किसी भी प्रकार की जीव जंतु की आकृति का होना इस्लामी एकेश्वरवाद की अवधारणा के विरुद्ध है.
इस दरगाह में पैगंबर मोहम्मद के पवित्र चिह्न है. यहां आने वाले अकीदतमंदों ने दरगाह के भीतर उद्घाटन पट पर अशोक चिह्न अंकित करने के लिए जम्मू-कश्मीर वक्फ बोर्ड की आलोचना की.
हाल ही में इस दरगाह का जीर्णोद्धार किया गया और दरगाह के पुनर्निर्माण और पुनर्विकास परियोजना का उद्घाटन वक्फ अध्यक्ष दरखशां अंद्राबी ने किया.
दरगाह के अंदर रखी उद्घाटन पट्टिका पर राष्ट्रीय प्रतीक अंकित है, जिसकी विभिन्न वर्गों द्वारा तीखी आलोचना की जा रही है.
कई जायरीनों ने कहा कि वक्फ बोर्ड की ओर से जम्मू-कश्मीर में मुसलमानों की धार्मिक भावनाओं के प्रति ‘‘असंवेदनशील’’ होना ‘‘शर्मनाक’’ है.
सत्तारूढ़ नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) के मुख्य प्रवक्ता और जदीबल के विधायक तनवीर सादिक ने कहा कि प्रतिष्ठित दरगाह में बुत स्थापित करना इस्लाम के खिलाफ है, जो बुतपरस्ती की मनाही करता है.
उन्होंने कहा, ‘‘मैं कोई धार्मिक विद्वान नहीं हूं, लेकिन इस्लाम में बुतपरस्ती की सख्त मनाही है, जो सबसे बड़ा पाप है। हमारे ईमान की बुनियाद तौहीद है।’’
लोगों ने शुक्रवार को राष्ट्रीय प्रतीक अंकित उद्घाटन पट्टिका को तोड़ दिया.