The nation paid tearful tribute to Dr. A.P.J. Abdul Kalam on his death anniversary
आवाज द वॉयस/नई दिल्ली
27 जुलाई 2015 को देश ने अपना वह सपूत खो दिया था, जिसने विज्ञान, शिक्षा, नीति और राष्ट्रनिर्माण को अपनी पूरी ज़िंदगी समर्पित कर दी. पूर्व राष्ट्रपति डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम की पुण्यतिथि पर आज पूरे देश ने उन्हें श्रद्धांजलि दी. सोशल मीडिया पर सुबह से ही #MissileMan, #APJAbdulKalam और #KalamLivesOn जैसे हैशटैग्स ट्रेंड करते रहे, और लाखों लोगों ने अपने श्रद्धासुमन अर्पित किए.
डॉ. कलाम केवल भारत के 11वें राष्ट्रपति ही नहीं थे, बल्कि वे युवाओं के प्रेरणास्रोत, एक वैज्ञानिक और एक सच्चे कर्मयोगी थे. उन्होंने जीवन भर सादगी, ईमानदारी और समर्पण के उस आदर्श को जिया, जिसकी मिसाल आज भी दुर्लभ है. उनकी पुण्यतिथि के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर पोस्ट किया, "डॉ. कलाम को उनकी पुण्यतिथि पर श्रद्धांजलि. उनका जीवन, कार्य और विचार आज भी युवाओं को राष्ट्रनिर्माण की प्रेरणा देते हैं. वह एक महान वैज्ञानिक, दूरदर्शी नेता और असाधारण राष्ट्रपति थे."
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह समेत कई नेताओं, वैज्ञानिकों, शिक्षाविदों और छात्रों ने सोशल मीडिया पर कलाम साहब को याद करते हुए उनकी शिक्षाओं को साझा किया. देशभर के स्कूलों और कॉलेजों में डॉ. कलाम की स्मृति में विशेष व्याख्यान और निबंध प्रतियोगिताएं आयोजित की गईं। कई स्थानों पर उनकी किताबों की प्रदर्शनी भी लगाई गई, जिनमें "Wings of Fire", "Ignited Minds" और "India 2020" जैसी प्रेरणास्पद रचनाएं शामिल थीं.
एक शिक्षक का अंत, कक्षा में ही
डॉ. कलाम का अंतिम क्षण भी शिक्षा को समर्पित था. 27 जुलाई 2015 को वे शिलॉन्ग में भारतीय प्रबंधन संस्थान (IIM) में एक व्याख्यान के दौरान मंच पर ही गिर पड़े थे। कुछ ही देर में उनकी हृदयगति रुक गई और देश ने एक महानायक को खो दिया. उनकी यह अंतिम घड़ी यह दर्शाती है कि वे जीवन के अंतिम क्षण तक शिक्षक बने रहे.
सोशल मीडिया पर उमड़ा जनसैलाब
आज उनकी पुण्यतिथि पर सोशल मीडिया श्रद्धांजलि से भरा रहा. एक छात्र ने लिखा, "डॉ. कलाम ने सिखाया कि सपने वे नहीं होते जो नींद में आते हैं, सपने वे होते हैं जो आपको सोने नहीं देते. आप हमारे दिलों में हमेशा रहेंगे." एक अन्य यूज़र ने लिखा, "देशभक्ति, विज्ञान और सादगी के समन्वय का नाम है अब्दुल कलाम। आज भी उनकी बातें प्रेरणा देती हैं कि कुछ बड़ा करना है, तो सोच भी बड़ी होनी चाहिए."
अनेक यूज़र्स ने उनके प्रेरणादायक विचार साझा किए
जैसे: "You have to dream before your dreams can come true."
"Great dreams of great dreamers are always transcended."
युवाओं के आदर्श
डॉ. कलाम ने अपने जीवनकाल में लाखों छात्रों को संबोधित किया, और उनमें आत्मविश्वास जगाने का काम किया. उन्होंने हमेशा युवाओं से कहा कि वे अपने देश के लिए कुछ बड़ा सोचें, मेहनत करें, और कभी हार न मानें. उनका यह कथन आज भी विद्यार्थियों के लिए मंत्र जैसा है:
"यदि आप असफल होते हैं, तो कभी हार न मानें, क्योंकि FAIL का अर्थ है – First Attempt In Learning."
डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम अब इस दुनिया में नहीं हैं, लेकिन उनके विचार, उनका जीवन और उनका समर्पण आज भी देश के हर नागरिक के दिल में जीवित है. हर वर्ष उनकी पुण्यतिथि पर उन्हें याद करना केवल श्रद्धांजलि नहीं, बल्कि उनके सपनों का भारत गढ़ने का संकल्प दोहराना भी है. आज, जब भारत विकास की नई ऊंचाइयों की ओर बढ़ रहा है, तो कलाम साहब के विचार और उनके दिखाए गए रास्ते हमें बार-बार यही याद दिलाते हैं — "देश को बदलना है तो पहले खुद को बदलो, खुद को तैयार करो. उनकी पुण्यतिथि पर यही सबसे बड़ी श्रद्धांजलि होगी