पेंच की बाघिन का सफल रेस्क्यू

Story by  एटीवी | Published by  [email protected] | Date 22-12-2025
The tigress from Pench was successfully rescued.
The tigress from Pench was successfully rescued.

 

सिवनी

मध्य प्रदेश के पेंच टाइगर रिज़र्व में बीते 24 दिनों से अधिकारियों को चकमा दे रही एक बाघिन को रविवार को सफलतापूर्वक पकड़कर भारतीय वायुसेना के एमआई-17 हेलिकॉप्टर से राजस्थान भेज दिया गया। अधिकारियों के अनुसार, इस तीन वर्षीय बाघिन को स्थानांतरण के लिए राजस्थान के रामगढ़ विषधारी टाइगर रिज़र्व ले जाया गया।

अधिकारियों ने बताया कि रविवार सुबह से दोपहर तक बाघिन को हाथियों की मदद से कई बार घेरा गया। इसके बाद उसे सुरक्षित तरीके से ट्रैंक्विलाइज़ कर सुकात्रा हवाई पट्टी तक रेस्क्यू वाहन में लाया गया। शाम करीब छह बजे भारतीय वायुसेना के एमआई-17 हेलिकॉप्टर से बाघिन को उसके पिंजरे सहित राजस्थान के लिए एयरलिफ्ट किया गया।

हेलिकॉप्टर में पेंच टाइगर रिज़र्व के वन्यजीव चिकित्सक डॉ. अखिलेश मिश्रा, सहायक निदेशक गुरलीन कौर, रुखड़ रेंज के रेंजर लोकेश पवार, वाइल्डलाइफ कंज़र्वेशन ट्रस्ट के चिकित्सक डॉ. प्रशांत देशमुख, राजस्थान वन विभाग के अधिकारी और विशेषज्ञों की टीम मौजूद रही, ताकि पूरी यात्रा के दौरान बाघिन की सुरक्षा और स्वास्थ्य पर निगरानी रखी जा सके।

पेंच टाइगर रिज़र्व के उपनिदेशक राजनेश सिंह ने कहा कि बाघिन पीएन-224 का यह स्थानांतरण न केवल रामगढ़ विषधारी टाइगर रिज़र्व में बाघों की संख्या बढ़ाने में मदद करेगा, बल्कि विभिन्न टाइगर लैंडस्केप्स के बीच आनुवंशिक विविधता को भी मज़बूत करेगा। उन्होंने इसे वैज्ञानिक वन्यजीव प्रबंधन और अंतर-राज्यीय समन्वय का उत्कृष्ट उदाहरण बताया।

अधिकारियों के अनुसार, बाघिन की गतिविधियों पर नज़र रखने के लिए आधुनिक एआई आधारित कैमरा ट्रैप और मोशन सेंसर कैमरों का उपयोग किया गया। लगभग 50 कैमरे लगाए गए थे, जिससे उसके स्वास्थ्य और व्यवहार की सटीक निगरानी संभव हो सकी। मध्य प्रदेश और राजस्थान वन विभागों के बीच बेहतर तालमेल, विशेषज्ञों की सतत मौजूदगी और फील्ड स्टाफ की दिनभर की गश्त ने इस जटिल अभियान को सफल बनाया।