मुंबई
सेना प्रमुख जनरल उपेन्द्र द्विवेदी ने सोमवार को कहा कि सशस्त्र बलों की वास्तविक शक्ति उनके आपसी तालमेल में निहित है, और ऑपरेशन सिंदूर इसका उत्कृष्ट उदाहरण है।वे मुंबई में माहे श्रेणी के पहले पनडुब्बी-रोधी उथले जल के युद्धपोत आईएनएस माहे के जलावतरण समारोह को संबोधित कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि बहु-क्षेत्रीय अभियानों के इस दौर में समुद्र की गहराइयों से लेकर ऊँचाई वाले सीमावर्ती क्षेत्रों तक एकसाथ समन्वय के साथ काम करने की देश की क्षमता, भारत गणराज्य की सुरक्षा और प्रभाव को परिभाषित करेगी।जनरल द्विवेदी ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर, सशस्त्र बलों की बेहतरीन तालमेल का एक उचित उदाहरण था।”
अप्रैल 2025 में हुए पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान में आतंकी ढाँचों को निशाना बनाते हुए ऑपरेशन सिंदूर के तहत सैन्य कार्रवाई की थी।उन्होंने आगे बताया कि भारतीय सेना ने परिवर्तन की व्यापक रणनीति के अंतर्गत कई पहलें शुरू की हैं, जिनमें संयुक्तता और एकीकरण प्रमुख स्तंभ हैं। उन्होंने कहा कि सेना यह समझती है कि आधुनिक युद्ध बहु-क्षेत्रीय और हाइब्रिड प्रकृति के होंगे और इनके लिए राष्ट्रीय शक्ति का समेकित उपयोग आवश्यक होगा।