मुनीर रजा / श्रीनगर
भारतीय सेना देश की रक्षा करने वाले सैनिकों और अधिकारियों को विभिन्न सुविधाएं प्रदान करने के साथ इच्छुक सैनिकों को उच्च शिक्षा की सुविधा भी प्रदान कर रही है. इस क्रम में कश्मीर विश्वविद्यालय और सेना के चिनार कोर के बीच आज सोमवार को एक समझौता हुआ.
इसके बादकश्मीर घाटी में तैनात युवा सैनिकों को दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से विभिन्न पाठ्यक्रमों में दाखिला मिल सकेगो.विश्वविद्यालय के गांधी भवन में चिनार कॉर्प्स और कश्मीर विश्वविद्यालय के बीच समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए.
एमओयू के मुताबिक, कश्मीर घाटी में तैनात सैनिक कश्मीर विश्वविद्यालय के दूरस्थ शिक्षा निदेशालय द्वारा संचालित विभिन्न पाठ्यक्रमों में प्रवेश ले सकते हैं. इसमें में छह महीने का सर्टिफिकेट कोर्स, एक साल का डिप्लोमा कोर्स और दो साल का पोस्टग्रेजुएट कोर्स शामिल है.
एमओयू के अनुसार कहती है, युवा सैनिक गणित में स्नातकोत्तर पाठ्यक्रम, अंग्रेजी में एमए, उर्दू भाषा और शिक्षा में स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों के लिए आवेदन कर सकते हैं. अन्य पाठ्यक्रमों में कंप्यूटर, वेब डिजाइन, साइबर कानून और पर्यटन प्रबंधन में डिप्लोमा पाठ्यक्रम शामिल हैं.
सैनिक प्रारंभ में निदेशालय द्वारा संचालित 18 पाठ्यक्रमों में नामांकन करा सकते हैं. भविष्य में इन पाठ्यक्रमों की संख्या में वृद्धि की जाएगी. समझौता ज्ञापन के माध्यम से जो युवा सैनिक अपनी पढ़ाई जारी रखना चाहते हैं,
वे लाभान्वित होंगे. इस अवसर पर उपस्थित चिनार कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल डीपी पांडे ने अपने संबोधन में समझौता ज्ञापन को मील का पत्थर बताया. उन्होंने कहा कि उच्च शिक्षा प्राप्त कर सैनिक कश्मीर जैसे संवेदनशील स्थान पर अपने कर्तव्य का निर्वाह कर सकेंगे.
लेफ्टिनेंट जनरल पांडे ने कहा कि शिक्षा मानसिक विकास को बढ़ाने और राष्ट्रीय विकास सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है. उन्होंने कहा कि कश्मीर विश्वविद्यालय के शिक्षाविद सैनिकों और चिनार कोर के नागरिक सुरक्षा कर्मियों को उच्च शिक्षा के साथ विशेष पाठ्यक्रमों में विशेषज्ञता के लिए सैन्य शिक्षा प्रदान करेंगे.
इस अवसर पर लेफ्टिनेंट जनरल पांडे ने चिनार कोर और कश्मीर विश्वविद्यालय के बीच तालमेल का जिक्र करते हुए कहा कि भविष्य में दोनों संस्थानों के बीच संबंध और मजबूत होंगे. इस मौके पर चिनार कोर लेफ्टिनेंट जनरल डीपी पांडे के अलावा कश्मीर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर तलत अहमद सहित एवं अन्य अधिकारी मौजूद थे.