हैदराबाद (तेलंगाना)
तेलंगाना राज्य भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने कांग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि वे बार-बार विदेशी धरती से भारत और इसकी संवैधानिक संस्थाओं को बदनाम कर रहे हैं।
राहुल गांधी ने कोलंबिया स्थित ईआईए यूनिवर्सिटी में एक बातचीत के दौरान केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार को निशाने पर लेते हुए कहा कि,"भारत में कई धर्म, परंपराएँ और भाषाएँ हैं। एक लोकतांत्रिक व्यवस्था सभी को स्थान देती है, लेकिन आज भारत में लोकतंत्र पर हर तरफ से हमला हो रहा है।"
इस बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए राज्य बीजेपी के मुख्य प्रवक्ता और मीडिया प्रभारी एन वी सुबाष ने राहुल गांधी और कांग्रेस के ओवरसीज़ संयोजक सैम पित्रोदा पर गंभीर आरोप लगाए। सुबाष ने कहा कि ये दोनों पाकिस्तान और उसकी सीमा पार आतंकवाद का परोक्ष रूप से बचाव कर रहे हैं, जिससे भारतीय नागरिकों और सुरक्षाबलों को जान गंवानी पड़ी है।
उन्होंने सैम पित्रोदा के उस बयान पर भी तीखा हमला किया जिसमें उन्होंने कहा था कि उन्हें भारत की तुलना में पाकिस्तान में अधिक सुरक्षित महसूस होता है। सुबाष ने कहा,"पित्रोदा का यह बयान न केवल अस्वीकार्य है, बल्कि 140 करोड़ भारतीयों का अपमान है और इसका खुलकर मज़ाक उड़ाया जाना चाहिए।"
सुबाष ने राहुल गांधी को "प्रचार के नेता" (Leader of Propaganda) बताते हुए कहा कि वे अपनी संवैधानिक ज़िम्मेदारी निभाने के बजाय विदेशों में जाकर भारत को बदनाम करने का एजेंडा चला रहे हैं। उन्होंने कहा,"विदेशी मंचों से भारत और उसकी संस्थाओं के खिलाफ झूठ फैलाना अत्यंत निंदनीय है।"
बीजेपी प्रवक्ता ने राहुल गांधी द्वारा भारत के चुनाव आयोग पर लगाए गए "वोट चोरी" के आरोपों को भी गंभीर और निराधार बताया। सुबाष ने कहा कि अगर राहुल गांधी के आरोपों में सच्चाई होती, तो कांग्रेस को 2024 के लोकसभा चुनावों में 99 सीटें और इसके बाद कई विधानसभा चुनावों में सफलता कैसे मिलती?
उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि राहुल गांधी ने चुनाव आयोग को सच्चाई की जांच करने की अनुमति देने वाले शपथपत्र पर हस्ताक्षर करने से भी इनकार कर दिया।
सुबाष ने गांधी परिवार को सलाह दी कि यदि वे सच में भारत को अपनी "कर्मभूमि" मानते हैं, तो उन्हें इसके कानूनों और संस्थाओं का सम्मान करना चाहिए। अन्यथा, उन्होंने चेतावनी दी कि "न्यायालयों को उनके खिलाफ लंबित मामलों — जैसे दोहरी नागरिकता और चुनावी पात्रता से संबंधित मुद्दों — पर स्वतः संज्ञान लेना पड़ सकता है।"
बीजेपी ने दोहराया कि पार्टी एक "विकसित भारत (Vikasit Bharat)" के निर्माण के लिए प्रतिबद्ध है और सभी जिम्मेदार नेताओं से अपील की कि वे ऐसे किसी भी बयान या कदम से बचें जो राष्ट्रीय हितों को नुकसान पहुँचाते हों।