वाशिंगटन
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शुक्रवार को एक बार फिर अंतरराष्ट्रीय रिश्तों को लेकर बड़ा बयान देते हुए कहा, "लगता है हमने भारत और रूस को चीन के हाथों खो दिया है।"यह टिप्पणी ऐसे समय पर आई है जब भारत और अमेरिका के बीच व्यापारिक शुल्क को लेकर तनाव अपने चरम पर है, और दोनों देशों के रिश्ते बीते दो दशकों में सबसे मुश्किल दौर से गुजर रहे हैं।
ट्रंप ने यह टिप्पणी अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘ट्रुथ सोशल’ पर की, जिसमें उन्होंने लिखा:"लगता है हमने भारत और रूस को चीन के हाथों खो दिया है। उनका भविष्य लंबा और समृद्ध हो!"
एससीओ सम्मेलन बना चर्चा का केंद्र
ट्रंप की यह टिप्पणी हाल ही में चीन के शहर तियानजिन में आयोजित शंघाई सहयोग संगठन (SCO) शिखर सम्मेलन के बाद सामने आई है, जहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच गर्मजोशी से बातचीत हुई थी। इस त्रिपक्षीय संवाद ने वैश्विक मंच पर खूब सुर्खियां बटोरी थीं।
शुल्क बढ़ाने से बिगड़े भारत-अमेरिका संबंध
ट्रंप के राष्ट्रपति काल में भारतीय उत्पादों पर शुल्क दोगुना कर 50% तक कर दिया गया था। इसके जवाब में भारत ने रूसी कच्चे तेल की खरीद पर 25% अतिरिक्त शुल्क लगाया था, जिससे नई दिल्ली और वाशिंगटन के बीच व्यापारिक खटास और भी गहरी हो गई।
ट्रंप का यह बयान न केवल अमेरिका की विदेश नीति की दिशा पर सवाल खड़े करता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि भारत, रूस और चीन के बीच बढ़ती नजदीकी को अमेरिका किस नजर से देख रहा है।