CISF's first woman officer created history, climbed 5 peaks of the Himalayas in just 3 days
आवाज द वॉयस/ नई दिल्ली
सीआईएसएफ़ की महिला सब-इंस्पेक्टर गीता समोटा ने 8,849 मीटर ऊंचे माउंट एवरेस्ट की सफल चढ़ाई कर इतिहास रच दिया है. ऐसा करने वाली वो पहली सीआईएसएफ़ कर्मी हैं.
19 मई, 2025 को गीता सामोता ने माउंट एवरेस्ट पर सफल चढ़ाई की. गीता समोटा राजस्थान के सीकर ज़िले के चक गांव की रहने वाली हैं. उन्होंने साल 2011 में सीआईएसएफ़ जॉइन किया था.
गीता सामोता एक प्रसिद्ध पर्वतारोही हैं, जिन्होंने अपनी इच्छाशक्ति और आत्मविश्वास से पर्वतारोहण की दुनिया में अनोखा स्थान बनाया है. उनका नाम उन साहसिक लोगों में गिना जाता है, जिन्होंने कठिन और चुनौतीपूर्ण पर्वतारोही मार्गों को पार कर अपनी योग्यता साबित की है. पर्यटन और साहसिक खेलों के क्षेत्र में गीता सामोता ने कई कठिन पहाड़ों की चढ़ाई की है, जो आम लोगों के लिए असंभव मानी जाती थीं.
उनकी खासियत न केवल उनके शारीरिक सामर्थ्य में है, बल्कि उनकी मानसिक दृढ़ता और धैर्य में भी है. पर्वतारोहण केवल शारीरिक बल का खेल नहीं है, बल्कि यह मानसिक शक्ति, रणनीति और प्रकृति के साथ तालमेल का भी नाम है. गीता ने ये सभी गुण बखूबी निभाए हैं.
उनका सबसे प्रसिद्ध आरोहण भारत के हिमालय में रहा है, जहां उन्होंने मुश्किल रास्तों और प्रतिकूल मौसम की परवाह किए बिना अपनी यात्रा पूरी की. इसके अलावा, गीता सामोता ने युवाओं को पर्वतारोहण के प्रति प्रेरित करने के लिए कई कार्यक्रम और कार्यशालाएं भी आयोजित की हैं. उनका मानना है कि साहस और अनुशासन से हर चुनौती को पार किया जा सकता है. गीता सामोता ने यह साबित कर दिया है कि यदि मन में दृढ संकल्प हो, तो कोई भी लक्ष्य कठिन नहीं होता. उन्होंने पर्वतारोहण के माध्यम से लोगों को न केवल प्रकृति के करीब लाने का काम किया है, बल्कि महिला सशक्तिकरण का संदेश भी दिया है.