नई दिल्ली
एशिया कप को समाप्त हुए एक महीने से अधिक समय हो चुका है, लेकिन चैंपियन भारतीय टीम को अब तक ट्रॉफी नहीं सौंपी गई है। यह विवाद उस समय शुरू हुआ जब फाइनल मुकाबले के बाद सूर्यकुमार यादव और शुभमन गिल ने पीसीबी और एसीसी अध्यक्ष मोहसिन नक़वी से ट्रॉफी लेने से इनकार कर दिया था। इसके बाद से यह मामला लगातार चर्चा में बना हुआ है।
हाल ही में भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने चेतावनी दी थी कि यदि दो दिनों के भीतर ट्रॉफी नहीं सौंपी गई, तो वह सख्त कदम उठाएगा। ऐसे में उम्मीद की जा रही थी कि दुबई में हुई आईसीसी बैठक में इस मुद्दे पर तीखी बहस होगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।
क्रिकबज़ की रिपोर्ट के अनुसार, शुक्रवार को दुबई स्थित आईसीसी मुख्यालय में हुई बैठक में पीसीबी अध्यक्ष मोहसिन नक़वी देर से पहुंचे। हालांकि, बैठक का माहौल उम्मीद के विपरीत काफी शांत और सौहार्दपूर्ण रहा। बीसीसीआई की ओर से सचिव देबजीत सैकिया ने भारत का प्रतिनिधित्व किया।
जब एशिया कप ट्रॉफी का मुद्दा उठा, तो सैकिया ने औपचारिक रूप से भारत को जल्द से जल्द ट्रॉफी सौंपे जाने की मांग की। इस दौरान अन्य बोर्ड सदस्य आपस में अनौपचारिक बातचीत में लगे रहे, जिससे यह स्पष्ट था कि इस मामले पर अब भी असमंजस की स्थिति बनी हुई है।
बैठक में यह भी चर्चा हुई कि यदि आवश्यक हुआ तो इस विवाद को सुलझाने के लिए एक विशेष पैनल का गठन किया जा सकता है। फिलहाल, एशिया कप की ट्रॉफी दुबई स्थित एसीसी कार्यालय में रखी गई है और अध्यक्ष नक़वी को निर्देश दिया गया है कि बिना अनुमति के ट्रॉफी को वहां से न हटाया जाए।
हालांकि, पीसीबी और बीसीसीआई के बीच किसी तरह की तीखी नोकझोंक नहीं हुई, लेकिन पाकिस्तान के मंत्री और पीसीबी अध्यक्ष मोहसिन नक़वी को इस मुद्दे पर कड़े सवालों का सामना करना पड़ा। क्रिकेट जगत में यह सवाल फिर उठ खड़ा हुआ है कि 28 सितंबर को भारत द्वारा पाकिस्तान को हराकर चैंपियन बनने के बावजूद अब तक ट्रॉफी क्यों नहीं सौंपी गई।
क्रिकबज़ की रिपोर्ट के अनुसार, बीसीसीआई के वरिष्ठ अधिकारियों से तत्काल संपर्क नहीं हो सका है, लेकिन ट्रॉफी सौंपे जाने को लेकर बोर्ड के भीतर अभी भी स्पष्टता नहीं बन पाई है। वहीं, आईसीसी बोर्ड ने अनौपचारिक रूप से बीसीसीआई और मोहसिन नक़वी से इस विवाद को जल्द सुलझाने की अपील की है।