What did former Deputy National Security Advisor Pankaj Saran say on the suspension of the Indus Water Treaty
आवाज द वॉयस/ नई दिल्ली
पूर्व उप राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार पंकज सरन कहते हैं, "इस संधि पर 1960 में हस्ताक्षर किए गए थे, लेकिन पिछले कुछ वर्षों में भारत ने सार्वजनिक रूप से कहा है कि यह संधि अपनी शर्तों को पूरा नहीं कर रही है। कुल हिस्से में से 80 प्रतिशत पानी पाकिस्तान के पास था और केवल 20 प्रतिशत भारत के पास था.
हालाँकि अब हम बाध्य नहीं हैं, हम उस 80 प्रतिशत हिस्से का उपयोग अपनी सिंचाई, जली उत्पादन या किसी अन्य उद्देश्य के लिए कर सकते हैं. 2016 में प्रधानमंत्री की टिप्पणी कि खून और पानी एक साथ नहीं बह सकते, आज भी प्रासंगिक है."