जीएसटी दरों में कटौती का लाभ उपभोक्ताओं तक पहुंच रहा, कीमतों पर सरकार की नजर: सीतारमण

Story by  PTI | Published by  [email protected] | Date 18-10-2025
Benefits of GST rate cuts reaching consumers, government monitoring prices: Sitharaman
Benefits of GST rate cuts reaching consumers, government monitoring prices: Sitharaman

 

आवाज द वॉयस/नई दिल्ली 

 
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को कहा कि जीएसटी सुधारों का लाभ कम कीमतों के रूप में उपभोक्ताओं को मिल रहा है।
 
जीएसटी बचत उत्सव पर एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि सरकार 22 सितंबर को जीएसटी की कम दरें लागू होने के बाद से देश भर में 54 वस्तुओं की कीमतों पर नजर रख रही है।
 
सीतारमण ने कहा, ''जीएसटी दरों में कमी के चलते खरीदारी बढ़ी है। उपभोग में वृद्धि का सिलसिला जारी रहेगा।''
 
उन्होंने आगे कहा, ''हमें भरोसा है कि ऐसी हर वस्तु पर कंपनियां उपभोक्ताओं को लाभ पहुंचा रही हैं।''
 
उन्होंने बताया कि कुछ वस्तुओं के मामले में व्यवसायों ने जीएसटी दर कटौती से अधिक लाभ उपभोक्ताओं को दिया है।
 
सीतारमण ने कहा कि उपभोक्ता मामलों के विभाग को जीएसटी कटौती के अनुरूप कीमतों में कमी न करने से संबंधित 3,169 शिकायतें मिली हैं। इनमें से 3,075 शिकायतें केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआईसी) के नोडल अधिकारियों को भेज दी गई हैं। विभाग ने 94 शिकायतों का समाधान किया है।
 
वित्त मंत्री ने कहा कि विभाग शिकायत पोर्टल पर एक सुविधा उपलब्ध कराएगा, ताकि शिकायतों को उन संबंधित क्षेत्रों के मुख्य आयुक्तों को भेजा जा सके जहां से शिकायतें मिली हैं।
 
इसी संवाददाता सम्मेलन में केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शनिवार को कहा कि जीएसटी सुधारों के कारण इस साल 20 लाख करोड़ रुपये की अतिरिक्त इलेक्ट्रॉनिक्स बिक्री होने की उम्मीद है।
 
मंत्री ने कहा कि सभी खुदरा श्रृंखलाओं के आंकड़ों से पता चलता है कि पिछले नवरात्रि की तुलना में 20-25 प्रतिशत अधिक बिक्री हुई और 85 इंच के टीवी जैसी कई ऐसी श्रेणियां हैं जिनका स्टॉक पूरी तरह से बिक गया।
 
वैष्णव ने कहा, ''इलेक्ट्रॉनिक्स सामानों की बढ़ती मांग का सीधा असर इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण पर पड़ रहा है। इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण अब दोहरे अंकों की वार्षिक वृद्धि दर (सीएजीआर) से बढ़ रहा है। इस साल खपत में 10 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि होने की पूरी संभावना है, जिसका अर्थ है कि पिछले वर्ष की तुलना में 20 लाख करोड़ रुपये की अतिरिक्त बिक्री होने की प्रबल संभावना है।''