आवाज द वाॅयस / नई दिल्ली
अगर आप सोचते हैं कि 55 से 60 साल के लोगों को बुजुर्ग माना जाता है तो आप गलत हैं.हाल के शोध के आलोक में उम्र बढ़ने की आम धारणा सही नहीं है.अमेरिकी मीडिया के मुताबिक, हाल में एक सर्वे में यह बात सामने आई है कि 60साल का व्यक्ति अब बूढ़ा नहीं रहा.बुढ़ापे की उम्र तय करने को लेकर हमारे समाज में जो आम धारणा पाई जाती है, वह सही नहीं है.
अमेरिकन साइकोलॉजिकल एसोसिएशन (एपीए) के जर्नल साइकोलॉजी एंड एजिंग में प्रकाशित इस अध्ययन के अनुसार, उम्र बढ़ना व्यक्ति की खुशी और स्वास्थ्य पर निर्भर करता है.उम्र बढ़ने पर उपरोक्त सर्वेक्षण के नतीजे एक जर्मन अध्ययन के आंकड़ों पर आधारित हैं जिसमें 14,000 से अधिक प्रतिभागी शामिल थे जिन्होंने 25 साल की अवधि में 8 बार सवालों के जवाब दिए.
हाल के सर्वेक्षणों से पता चला है कि जिस उम्र में व्यक्ति को बुजुर्ग माना जाता है वह लगातार बढ़ रही है.शोधकर्ताओं का कहना है कि हाल में हुए एक सर्वे के मुताबिक, जो लोग अब 60साल की उम्र पार कर चुके हैं उनका मानना है कि बुढ़ापा 75साल के बाद शुरू होता है, जबकि एक दशक पहले उन्हीं लोगों पर किए गए सर्वे के मुताबिक बुढ़ापा 75साल की उम्र से शुरू हो रहा था.
अमेरिकन जर्नल ऑफ मेडिसिन जर्नल में प्रकाशित अध्ययन के अनुसार, यह बदलाव हमारे स्वर्ण युग के दौरान जीवन प्रत्याशा, सेवानिवृत्ति की आयु सीमा और समग्र रूप से बेहतर काम करने की क्षमता में वृद्धि को दर्शाता है.जिस उम्र में लोग खुद को बूढ़ा मानते हैं वह उनके लिंग, स्वास्थ्य और सामान्य खुशी के आधार पर भिन्न-भिन्न होता है.
सर्वे के मुताबिक, महिलाओं का मानना है कि पुरुषों की तुलना में बुढ़ापा देर से शुरू होता है.सर्वे के मुताबिक, जिस उम्र में पुरुष किसी को बूढ़ा मानते हैं, वह उस उम्र से करीब दो साल बाद होती है, जिस उम्र में महिलाएं बुढ़ापा समझती हैं.इस बीच, जो लोग अकेले रहते हैं या स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हैं, वे खुश और स्वस्थ लोगों की तुलना में कम उम्र में खुद को बूढ़ा मानते हैं.