बदलते भारत की तस्वीर है अयोध्या : मौलाना उमेर इलियासी

Story by  आवाज़ द वॉयस | Published by  [email protected] | Date 29-01-2024
I participated in Ram Mandir function for the country: Maulana Umair Ilyasi
I participated in Ram Mandir function for the country: Maulana Umair Ilyasi

 

आवाज द वॉयस /नई दिल्ली

मैं देश की खातिर राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह में शामिल हुआ. नफरत के युग को खत्म करने के लिए इसका हिस्सा बनें. अयोध्या से देश में सकारात्मक संदेश जाएगा. मेरा ये कदम बहुत सफल रहा. मुझे बहुत प्यार मिला. हर कोई आदरपूर्ण था. मुसलमानों की ओर से एक सकारात्मक संदेश था.

ये विचार हैं ऑल इंडिया इमाम ऑर्गनाइजेशन के प्रमुख डॉ. उमैर अहमद इलियासी के. उन्होंने आवाज द वॉयस के प्रधान संपादक आतिर खान से खास मुलाकात में कहा कि राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह में एक नए भारत का दर्शन हुआ.
 
नफरत और दुश्मनी से मुक्त भारत. मैंने देखा और महसूस किया. अयोध्या के राम मंदिर में कोई नफरत नहीं थी. कोई राजनीति नहीं थी. हर कोई एक भक्ति के साथ आया था, इसलिए हर किसी की आंखों में चमक थी.
 
एक दूसरे के लिए सम्मान था. ये सम्मान हममें से किसी के लिए नहीं था. मैं शंकराचार्यों  और अन्य हिंदू धर्म गुरुओं के साथ बैठा था. सभी मुझे देखकर खुश थे. शायद किसी ने नहीं सोचा होगा कि मैं प्राण प्रतिष्ठा में भाग लूंगा.
 
मौलाना उमैर इलियासी ने कहा कि ये बदलते भारत की तस्वीर है. आज का भारत नया भारत है. आज का भारत सर्वोत्तम भारत है. मैं यहां प्यार का पैगाम लेकर गया था.
 
हम सब एक पंक्ति में खड़े थे. यही भारत की खूबसूरती है. बेशक हमारी पूजा-अर्चना के तरीके अलग-अलग हो सकते हैं, हमारी मान्यताएं अलग-अलग हो सकती हैं, लेकिन हमारा सबसे बड़ा धर्म इंसान और इंसानियत है. आइए अब हम सब मिलकर इंसानियत कायम रखें.
 
आवाज द वॉयस के खास बातचीत में मौलाना उमैर इलियासी ने कहा कि इस कार्यक्रम में शामिल होने का फैसला पूरी तरह से राष्ट्रीय था. यह कदम देशहित में उठाया गया.दूसरी बात यह कि हम सभी भारतीय हैं.
 
हम भारत में रहते हैं तो हम सभी को भारत को मजबूत रखना चाहिए. आज हमारा संदेश नफरत खत्म करना है. उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा, बहुत सारी साजिशें हुईं, बहुत सारी दुश्मनी, बहुत सारी राजनीति, बहुत सारे लोग मारे गए.
 
अब हम सबको मिलकर भारत को मजबूत करना है. भारतीयता को मजबूत करना होगा. हम सब मिलकर अखंड भारत की दिशा में काम करें.उन्होंने राम मंदिर समारोह को लेकर कहा कि यह भारत की संस्कृति है.
 
यह विविधता में एकता को दर्शाती है. राम जन्मभूमि ट्रस्ट ने मुझे इस कार्यक्रम के लिए आमंत्रित किया. मुझे लगता है कि मुझे सभी मुसलमानों की ओर से भारत के सभी मुसलमानों का प्रतिनिधित्व करने का अवसर मिला है.
 
मैं आपको बता दूं कि मैं जब वहां प्रवेश कर रहा था तो दोनों तरफ लोग मौजूद थे. लोगों ने खुशी से मेरा स्वागत किया.उन्होंने कहा, इसमें कोई शक नहीं कि यह बहुत महत्वपूर्ण अवसर था.
 
आप समझ सकते हैं कि यह एक राजनीतिक और सांप्रदायिक संघर्ष था. इससे नफरत, लड़ाई हुई और अनगिनत जानें गईं. अब यह पूरी तरह से बंद हो गया है. इसलिए देशहित और राष्ट्रहित को ध्यान में रखते हुए मैंने तय किया कि मैं जरूर जाऊंगा.
 
मैंने उनका निमंत्रण स्वीकार कर लिया. मेरा मानना है कि हमें उन जगहों पर प्यार का संदेश फैलाना चाहिए जहां नफरत और लड़ाई है और वही हुआ. मौलाना उमैर इलियासी ने कहा कि इसमें कोई संदेह नहीं है कि एक समुदाय मुझसे तब से नाराज है जब से मैं अयोध्या से वापस आया हूं.
 
मुझे अनर्गल संदेश मिल रहे हैं. मुझे यह भी लगा कि मेरे जाने से कई लोग नाराज हैं. लेकिन मैंने देश और राष्ट्र के लिए यह बड़ा कदम उठाया है. जिसे लेकर मैं खुश हूं. महत्वपूर्ण बात यह है कि मुस्लिम समुदाय और सभी प्रमुख विद्वानों में से किसी ने भी इसका विरोध नहीं किया.