‘द टेलीग्राफ’ के संपादक संकर्षण ठाकुर का गुरुग्राम के अस्पताल में निधन

Story by  PTI | Published by  [email protected] | Date 08-09-2025
'The Telegraph' editor Sankarshan Thakur died in Gurugram hospital
'The Telegraph' editor Sankarshan Thakur died in Gurugram hospital

 

आवाज द वॉयस/नई दिल्ली

 
वरिष्ठ पत्रकार और अंग्रेजी समाचार पत्र ‘द टेलीग्राफ’ के संपादक संकर्षण ठाकुर का लंबी बीमारी के बाद सोमवार को गुरुग्राम के एक अस्पताल में निधन हो गया। वह 63 वर्ष के थे.

उनके परिवार में पत्नी सोना, बेटी जहान और बेटा आयुष्मान हैं.
 
ठाकुर ने 1984 में ‘संडे’ पत्रिका से अपना पत्रकारिता करियर शुरू किया था.
 
उन्होंने कई मीडिया संस्थानों में काम किया, जिनमें ‘द इंडियन एक्सप्रेस’, ‘तहलका’ और ‘द टेलीग्राफ’ शामिल हैं। शब्दों का चयन ठाकुर के विश्लेषणों एवं ‘ग्राउंड रिपोर्ट’ को और भी धारदार बना देता था.
 
उन्हें अपनी तीक्ष्ण राजनीतिक टिप्पणियों और संवेदनापूर्ण लेखनी के लिए जाना जाता है। ठाकुर देश की राजनीति, खासकर बिहार, के एक गहन इतिहासकार थे। उनका गृह राज्य न केवल उनकी पत्रकारिता का केंद्र था, बल्कि इसने एक लेखक के रूप में भी उन्हें स्थापित किया.
 
ठाकुर ने राज्य के प्रमुख राजनीतिक हस्तियों की बहुचर्चित और सर्वाधिक बिकने वाली जीवनी लिखी हैं। उनकी पुस्तकों में पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद की राजनीतिक जीवनी ‘‘सबाल्टर्न साहब’’, ‘‘सिंगल मैन: द लाइफ एंड टाइम्स ऑफ नीतीश कुमार ऑफ बिहार’’ तथा लालू और नीतीश पर आधारित पुस्तक ‘‘द ब्रदर्स बिहारी’’ शामिल हैं.
 
‘एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया’ ने ठाकुर के निधन पर दुख व्यक्त करते हुए कहा कि उनकी एक पत्रकार और लेखक, दोनों रूप में एक जबरदस्त प्रतिष्ठा थी.
 
गिल्ड ने एक बयान में कहा कि एक निडर ग्राउंड रिपोर्टर के रूप में, उन्होंने भारत की कुछ सबसे महत्वपूर्ण घटनाओं -- कारगिल युद्ध के मोर्चे से लेकर भोपाल (गैस) त्रासदी, 1984 के सिख विरोधी दंगे और इंदिरा गांधी की हत्या, कश्मीर की समस्याओं, श्रीलंका का गृहयुद्ध और बिहार तथा पाकिस्तान की सामाजिक-राजनीतिक समस्याओं -- पर लिखा.
 
ठाकुर की असामयिक मृत्यु होने पर सोशल मीडिया पर कई हस्तियों ने दुख व्यक्त किया.