लालकिला विस्फोट: अल्फलाह भी आया चपेट में, एफआईआर दर्ज, तीन हिरासत में

Story by  आवाज़ द वॉयस | Published by  [email protected] | Date 15-11-2025
Red Fort blast: Alfalah also caught in the blast, FIR registered, three people including two doctors detained
Red Fort blast: Alfalah also caught in the blast, FIR registered, three people including two doctors detained

 

नई दिल्ली

लाल किले के पास हुए विस्फोट की जांच के सिलसिले में दिल्ली पुलिस ने हरियाणा स्थित अल-फलाह विश्वविद्यालय के दो डॉक्टरों सहित तीन लोगों को हिरासत में लिया है। इसी बीच, विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) और राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद (NAAC) द्वारा उठाई गई अनियमितताओं के आधार पर विश्वविद्यालय के खिलाफ दो अलग-अलग प्राथमिकी भी दर्ज की गई हैं। अधिकारियों ने शनिवार को यह जानकारी दी।

लाल किले के पास हुए धमाके में 13 लोगों की मौत हुई थी, जिसके बाद कई एजेंसियों की संयुक्त जांच जारी है। इसी जांच के दौरान विश्वविद्यालय से जुड़े कुछ व्यक्तियों की गतिविधियों पर भी सवाल उठे हैं।
अपराध शाखा ने UGC और NAAC द्वारा इंगित नियामकीय उल्लंघनों के बाद धोखाधड़ी और जालसाजी के आरोपों में दो केस दर्ज किए हैं। इससे पहले UGC और NAAC ने विश्वविद्यालय के कामकाज में ‘गंभीर अनियमितताएं’ बताई थीं।

पुलिस की एक टीम शनिवार को विश्वविद्यालय के ओखला स्थित कार्यालय पहुंची और जांच के दायरे में आए व्यक्तियों से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारियां एकत्र कीं।

अल-फलाह विश्वविद्यालय के जिन दो डॉक्टरों – मोहम्मद और मुस्तकीम – को हिरासत में लिया गया है, वे उन डॉ. उमर नबी को जानते थे जो विस्फोट से संबंधित संदिग्ध हुंडई i20 कार को चला रहा था।

सूत्रों ने बताया कि विशेष शाखा और राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने शुक्रवार देर रात धौज, नूंह और आसपास के क्षेत्रों में समन्वित छापेमारी की, जिसके दौरान इन लोगों को पकड़ा गया।
मोहम्मद और मुस्तकीम कथित तौर पर डॉ. मुजम्मिल गनई के संपर्क में थे, जिन्हें एक कथित ‘सफेदपोश आतंकी मॉड्यूल’ मामले में गिरफ़्तार किया जा चुका है। दोनों उमर नबी के करीबी सहयोगी भी बताए जा रहे हैं।

शुरुआती पूछताछ में यह जानकारी सामने आई है कि विस्फोट वाले दिन एक डॉक्टर दिल्ली एम्स में इंटरव्यू देने आया हुआ था।
अब अधिकारियों द्वारा इनके बयान की पुष्टि की जा रही है ताकि यह पता लगाया जा सके कि गनई से इनके संबंध कितने गहरे थे और क्या ये किसी साजिश का हिस्सा थे।

इसी मामले में दिनेश उर्फ डब्बू नामक एक अन्य व्यक्ति को भी बिना लाइसेंस खाद बेचने के आरोप में हिरासत में लिया गया है। जांच में सामने आया है कि आतंकी मॉड्यूल के सदस्यों ने विस्फोटक सामग्री जुटाने के लिए करीब 26 लाख रुपये इकट्ठा किए, जिनमें से तीन लाख रुपये NPK उर्वरक खरीदने में लगाए गए – जिसका उपयोग विस्फोटक बनाने में किया जा सकता है।
यह जांच चल रही है कि क्या दिनेश ने संदिग्धों को खाद बेची थी और क्या उसकी गतिविधियां केवल अवैध व्यापार तक सीमित थीं या उससे आगे भी जाती थीं।

पुलिस ने वजीरपुर औद्योगिक क्षेत्र के एक चाय विक्रेता से भी पूछताछ की है, जहां उमर विस्फोट से पहले 10–15 मिनट रुका था। चाय विक्रेता के मुताबिक, ‘‘एक नकाबपोश व्यक्ति कुछ देर दुकान पर बैठा था। पुलिस ने मुझसे पूछा कि उसने चाय पी थी या ज्यादा देर रुका था। उन्होंने मुझे सीसीटीवी फुटेज भी दिखाई।’’

जांचकर्ता आसफ अली रोड पर रामलीला मैदान के पास स्थित एक मस्जिद से भी आगंतुकों के रिकॉर्ड जुटा रहे हैं। यहां विस्फोट से कुछ घंटे पहले उमर को सीसीटीवी में देखा गया था।

सूत्रों के मुताबिक, पुलिस ने सुनहरी मस्जिद पार्किंग में विस्फोट से पहले तीन घंटे तक खड़ी सभी गाड़ियों का विस्तृत रिकॉर्ड तैयार किया है, जिसमें वाहन संख्या, समय और मालिक की जानकारी शामिल है।
बम निरोधक दस्ते और पुलिस की टीम मौके पर लगातार काम कर रही है। सबसे पहले उन गाड़ियों की जांच की जा रही है जो विस्फोट के समय मौजूद थीं। जांच पूरी होने पर उन्हें सत्यापन के बाद संबंधित मालिकों को वापस दिया जा रहा है।
ड्राइवरों और मालिकों को उमर की तस्वीर दिखाई जा रही है ताकि यह पता चल सके कि उसने पार्किंग के दौरान किसी से मुलाकात या बातचीत की थी या नहीं।

विस्फोट की बड़ी साजिश की जांच के लिए दिल्ली पुलिस की विशेष शाखा ने पहले ही साजिश की धाराओं में FIR दर्ज कर ली थी। प्रारंभिक UAPA मामला अब NIA को सौंप दिया गया है।

जांचकर्ताओं ने लाल किला मेट्रो स्टेशन के भीतर से भी सीसीटीवी फुटेज हासिल की हैं, जिसमें विस्फोट से ठीक पहले और बाद की गतिविधियां रिकॉर्ड हैं। फुटेज में दिख रहा है कि जैसे ही बाहर धमाका होता है, स्टेशन अचानक हिलता है और यात्री घबराकर इधर-उधर देखते हैं।

इस बीच, दिल्ली मेट्रो रेल निगम (DMRC) ने लाल किला मेट्रो स्टेशन के प्रवेश द्वार नंबर 2 और 3 को फिर से खोल दिया है। विस्फोट के बाद सुरक्षा कारणों से चार दिनों से ये गेट बंद थे। DMRC ने एक्स पर पोस्ट कर इसकी जानकारी दी।