पुणे में रमजानः तिलावत, इबादत और कौसर बाग की दावत

Story by  शाहताज बेगम खान | Published by  [email protected] | Date 20-04-2022
कौसर बाग की दावत
कौसर बाग की दावत

 

शाहताज खान / पुणे

‘पूरब का ऑक्सफोर्ड’ कहे जाने वाले पुणे के दक्षिण पूर्व में एक इलाका है कोंढवा. यह मुस्लिम बहुल इलाका है. दो वर्ष बाद यहां की रौनक लौट आई है. कोंढवा का कौसर बाग क्षेत्र शाम होते ही रंग-बिरंगी रोशनियों से जगमगा उठता है. दूर तक स्वादिष्ट व्यंजनों की महक फैलने लगती है. और धीरे-धीरे यहां भीड़ बढ़ने लगती है. इफ्तार के समय पर यहां बैठने की जगह मिलना असंभव है. परिवार, दोस्तों और रिश्तेदारों के साथ यहां रोजा खोलने का अपना ही मजा है.

https://www.hindi.awazthevoice.in/upload/news/165045409315_Ramadan_in_Pune_Tilawat,_worship_and_feast_of_Kausar_Bagh_2.jpg

अफगानी चिकन, शीक कबाब, काढी गोश्त, चिकन काढी, मटन काढी, रामपुरी शाकी, चिकन कटलेट्स, मटन रोल्स, खिचड़ा, बिरयानी, दालचा और भी इतनी वेराइटी यहां मिलती है कि दो-चार चक्कर तो इस स्पेशल फूड मार्केट के लगाने ही पड़ते हैं. पुणेकर पूरे वर्ष यहां मिलने वाले स्वादिष्ट व्यंजनों की प्रतीक्षा करते हैं, क्योंकि यहां पर रमजान के पूरे एक महीने तरह-तरह के व्यंजन बनाए जाते हैं. जिन में से कुछ तो ऐसे खाने हैं, जो इसी खास माह में ही मिलते हैं. अपना जायका, अपनी डिश लेकर कौसर बाग की इस फूड मार्केट की रौनक बढ़ाने दूर दूर से बावर्ची पहुंचते हैं. नमकीन और मसालेदार खानों का मजा लेने के बाद हलवा पराठा, फालूदा आइस्क्रीम, रबड़ी मालपुआ, जलेबी, शाही टुकड़े और फिरनी अगर नहीं खाई, तो दावत अधूरी ही रह जाएगी .

कब बुला रहे हो इफ्तार पर

सफदर हुसैन का कहना है कि उनके दोस्तों ने रमजान शुरू होने से पहले ही कौसर बाग की फूड मार्केट में इफ्तार की दावत का उनसे वादा ले लिया था. अभिशाल वाडेकर का कहना है कि दो साल बाद यह अवसर मिला है. मेरा पेट भर गया, लेकिन दिल नहीं भरा है. लगता है फिर आना पड़ेगा.

https://www.hindi.awazthevoice.in/upload/news/165045411915_Ramadan_in_Pune_Tilawat,_worship_and_feast_of_Kausar_Bagh_3.jpg

वागेश बाजरे का कहना है कि अभी तो दस ही बजे हैं, थोड़ी देर टहलेंगे और फिर खाएंगे. किनारे पर बैठे हुए सौरव पटवर्धन को देखकर लग रहा था कि वह खाने के साथ पूरा इंसाफ कर रहे हैं. यह सभी कालेज के छात्र थे. सफदर हुसैन ने हंसते हुए कहा कि देखिए रोजा मेरा था और इफ्तार यह सब कर रहे हैं.

दावत दी है हमने अपने दोस्त को

https://www.hindi.awazthevoice.in/upload/news/165045415215_Ramadan_in_Pune_Tilawat,_worship_and_feast_of_Kausar_Bagh_5.jpg

अल्फ्रेड छह बजे ही यहां पहुंच गए थे. वो अभी अपने दोस्त शाकिर की प्रतीक्षा कर रहे हैं. एक जमाना था, जब पुणे के खाने के शौकीन मोमिनपुरा और आजम कैंपस में लगने वाली स्पेशल रमजान की फूड मार्केट का  इंतजार किया करते थे. लेकिन अब कौसर बाग की फूड मार्केट ने लोगों को अपने जायकों का दीवाना बना दिया है. यह मार्केट पुरानी दिल्ली की जामा मस्जिद पर लगने वाले स्पेशल बाजार, हैदराबाद की चार मीनार मार्केट और मुंबई की मोहम्मद अली रोड की रमजान की रोनक बढ़ाने वाली मार्किटों से जरा अलग है. यहां केवल इफ्तार से सेहरी तक का इंतजाम है, क्योंकि यह सिर्फ रमजान की मार्किट है. ईद की खरीदारी के लिए कोई और जगह तलाश करना पड़ती है.

ये रौनकें

https://www.hindi.awazthevoice.in/upload/news/165045420215_Ramadan_in_Pune_Tilawat,_worship_and_feast_of_Kausar_Bagh_4.jpg

एक लम्बे समय के बाद यह रौनकें वापस आई हैं. लोग खुलकर इसका लुत्फ ले रहे हैं. भले ही पार्किंग की समस्या से जूझना पड़े, मगर लोग यह मौका हाथ से जाने नहीं देना चाहते. रोशन गुप्ता का कहना है कि मैंने इन खानों और यहां के माहौल को बहुत मिस किया. आबिद साहब ने दुकानदार को अपने सामान का आर्डर देते हुए बताया कि पुणे में इस बार बहुत गर्मी है. इसलिए मैंने अपनी बेगम को रोजा इफ्तार के लिए कुछ बनाने से मना कर दिया है. हर रोज यहीं से कुछ ले जाता हूं. इस मार्किट की गहमा-गहमी और लोगों की भीड़ बता रही है कि रमजान के इस पावन माह में तिलावत, इबादत और दावत खूब हो रही हैं.