Kargil Vijay Diwas: Where the son gave his life for the country, the mother found peace
आवाज द वॉयस/नई दिल्ली
लद्दाख के करगिल जिले के खूबसूरत शहर द्रास में ‘लामोचन व्यू पॉइंट’ पर बहती ठंडी हवा में लोगों ने वर्ष 1999 के करगिल युद्ध में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि देते हुए उन्हें याद किया.
द्रास सेक्टर की ऊंची-ऊंची चोटियों पर पड़ती सूरज की किरणें दृश्य को और मनमोहक बना देती है.
यह घाटी कभी भारतीय सेना और कश्मीरी आतंकवादियों के वेश में पाकिस्तानी घुसपैठियों के बीच युद्ध का मैदान रही थी.
इस सभा में बीना महत, करगिल युद्ध के वीर सैनिकों व शहीदों के परिवारों, दोस्तों और रिश्तेदारों सहित बाकियों से अलग नजर आ रही थीं.
वर्ष 1999 में हुए युद्ध में पाकिस्तान पर भारत की जीत का प्रतीक 26वां कारगिल विजय दिवस शनिवार को मनाया जाएगा.
यह दिन उन लोगों के लिए बेहद मायने रखता है जिन्होंने अपने प्रियजनों को खोया है और इन्हीं में से एक जवान की मां हैं बीना.
बीना अपने परिवार के सदस्यों वाली एल्बम को देखते हुए याद करती हैं कि कैसे उनका बेटा युद्ध में दुश्मन की गोलियों का निशाना बना था.
उन्होंने कहा,“मुझे इस जगह पर सुकून मिलता है क्योंकि यहां मेरे बेटे ने देश के सम्मान के लिए अपनी जान कुर्बान कर दी। मैं यहां पहली बार आई हूं और मैं चाहती हूं कि यह आखिरी बार हो.