शिमला
हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा और कुल्लू जिलों में बुधवार शाम भारी बारिश और बादल फटने से आई फ्लैश फ्लड के बाद कम से कम 10लोग अब भी लापता हैं। अधिकारियों ने गुरुवार को बताया कि राहत और बचाव कार्यों को और तेज़ कर दिया गया है।
फ्लैश फ्लड की चपेट में आने से दो लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि करीब 20लोगों के बह जाने की आशंका जताई गई थी। इनमें से कुछ लोगों को सुरक्षित बचा लिया गया है, हालांकि प्रशासन ने अब तक स्पष्ट नहीं किया है कि कितने लोगों को रेस्क्यू किया गया।
कांगड़ा ज़िले में तबाही
कांगड़ा ज़िले के खनियारा गांव स्थित इंदिरा प्रियदर्शिनी जलविद्युत परियोजना के पास मज़दूरों की एक कॉलोनी में करीब 15-20मज़दूर मौजूद थे, जब मन्यूणी खड्ड में जल स्तर अचानक बढ़ गया। इस आपदा में दो लोगों की मौत हो गई है।
डिप्टी कमिश्नर हेमराज बैरवा ने बताया कि परियोजना स्थल पर छह लोग अब भी लापता हैं, जबकि एक व्यक्ति जो भागकर पास की पहाड़ी पर गया था, उसका भी अब तक कोई सुराग नहीं मिला है। उसकी तलाश के लिए विशेष टीम लगाई गई है।बाकी मज़दूरों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया है। बैरवा ने कहा, “खोज और बचाव हमारी पहली प्राथमिकता है।”
कुछ लापता लोग हिमाचल के नूरपुर और चंबा जिलों से हैं, जबकि कुछ उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं।
कुल्लू में तीन लोग लापता
कुल्लू ज़िले के सैंज क्षेत्र के रेहला बिहाल गांव में तीन लोग, जिनमें एक 14वर्षीय किशोर भी शामिल है, अपने घरों से सामान निकालते समय बाढ़ में बह गए। इनकी तलाश जारी है।
डिप्टी कमिश्नर टोरुल एस. रावेश ने बताया कि कुल्लू में राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (NDRF) भी राहत कार्यों में जुट गई है। उन्होंने पर्यटकों से अपील की है कि वे मानसून के दौरान नदी किनारे और निचले इलाकों से दूर रहें।
राजनीतिक प्रतिक्रिया
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे. पी. नड्डा ने मृतकों के परिजनों के प्रति संवेदना जताते हुए कहा, “इस संकट की घड़ी में भाजपा का हर कार्यकर्ता देवभूमि के नागरिकों की मदद को समर्पित है।”
धर्मशाला से भाजपा विधायक सुधीर शर्मा, जो खुद घटनास्थल पहुंचे, ने इसे घोर लापरवाही करार दिया। उन्होंने कहा कि जब मौसम बिगड़ रहा था, तब भी मज़दूरों को सुरक्षित स्थान पर नहीं पहुंचाया गया। उन्होंने जांच की मांग की और ठेकेदार व परियोजना अधिकारियों पर भी उदासीनता का आरोप लगाया।
उन्होंने कहा कि वास्तविक नुकसान रिपोर्ट में बताए गए आंकड़ों से कहीं ज्यादा है और केवल मज़दूरों का ठेकेदार ही सही जानकारी दे सकता है कि कितने लोग लापता हैं।
राहत और पुनर्वास
अधिकारियों के अनुसार, परियोजना स्थल पर काम बारिश के कारण स्थगित कर दिया गया था और मज़दूर अस्थायी शेल्टर में विश्राम कर रहे थे। इसी दौरान मन्यूणी खड्ड और अन्य नालों का पानी मज़दूर कॉलोनी में घुस गया और कई लोगों को बहा ले गया।परियोजना से जुड़े बाकी 250-275मज़दूरों को सुरक्षित स्थान पर अम्बेडकर भवन, खनियारा में शिफ्ट किया गया है।
बंजार में भारी तबाही
मनाली और बंजार क्षेत्रों से भी फ्लैश फ्लड की खबरें आई हैं। सैंज, गड़सा और होरनागढ़ क्षेत्रों में भारी नुकसान हुआ है, जो बंजार विधानसभा क्षेत्र में आते हैं।बंजार के विधायक सुरेंद्र शौरी ने मौके पर पहुंचकर हालात का जायज़ा लिया। उन्होंने बताया कि होरनागढ़ गांव में मुख्य सड़क बंद है और गांव में बिजली और पानी की आपूर्ति बाधित हो गई है।
उन्होंने राजस्व विभाग के अधिकारियों को प्रभावित लोगों को तुरंत राहत देने का निर्देश दिया है।