सिल्वर ईटीएफ का एयूएम महज 3 साल में 13,500 करोड़ रुपये के पार: रिपोर्ट

Story by  आवाज़ द वॉयस | Published by  onikamaheshwari | Date 15-03-2025
Silver ETF AUM crosses Rs 13,500 crore in just 3 years: Report
Silver ETF AUM crosses Rs 13,500 crore in just 3 years: Report

 

मुंबई
 
पिछले तीन वर्षों में सिल्वर एक्सचेंज-ट्रेडेड फंड्स (ईटीएफ) को लेकर  निवेशकों की दिलचस्पी बढ़ी है. शनिवार को आई एक लेटेस्ट रिपोर्ट के अनुसार, जनवरी 2025 तक ईटीएफ प्रबंधन के तहत परिसंपत्तियां (एयूएम) 13,500 करोड़ रुपये को पार कर गई.
 
जीरोधा फंड हाउस द्वारा जारी लेटेस्ट आंकड़ों से पता चलता है कि वर्तमान में भारतीय बाजार में 12 सिल्वर ईटीएफ हैं, जिनमें छह लाख से अधिक इंवेस्टर फोलियो हैं.
 
भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) द्वारा नवंबर 2021 में परिसंपत्ति प्रबंधन कंपनियों को ईटीएफ लॉन्च करने की अनुमति दिए जाने के बाद से भारत में कीमती धातु के ईटीएफ में शानदार वृद्धि दर्ज की गई है.
 
जीरोधा फंड हाउस के सीबीओ वैभव जालान ने कहा, "सिल्वर ईटीएफ के बढ़ते लेनदेन की मात्रा निवेशकों की बढ़ती दिलचस्पी को दर्शाती है."
 
उन्होंने कहा कि ये ईटीएफ फिजिकल चांदी के ऑनरशिप का विकल्प प्रदान करते हैं. साथ ही स्टोरेज, सिक्योरिटी और बीमा से जुड़ी चिंताओं को दूर करते हुए चांदी की कीमत को लेकर स्थिति स्पष्ट करते हैं.
 
रुचि में यह उछाल निवेश विकल्प के रूप में चांदी की बढ़ती मांग को दर्शाता है.
 
निवेशक तेजी से अपने पोर्टफोलियो में विविधता लाने के तरीकों की तलाश कर रहे हैं, और सिल्वर ईटीएफ इस कीमती धातु के संपर्क में आने का एक सुविधाजनक और परेशानी मुक्त तरीका प्रदान करते हैं.
 
2021 से चांदी की मांग इसकी आपूर्ति से आगे निकल गई है. चांदी अलग-अलग उद्योगों में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है.
 
इसका इस्तेमाल सौर ऊर्जा, ऑटोमोटिव मैन्युफैक्चरिंग, डिजिटल फोटोग्राफी और आभूषणों में किया जाता है.
 
चांदी की थर्मल प्रॉपर्टीज और जंग न लगने की खूबी इसे इंडस्ट्रियल मैन्युफैक्चरिंग और फैब्रिकेशन के लिए पसंदीदा मटीरियल बनाती है.
 
'द सिल्वर इंस्टीट्यूट' के अनुमानों के अनुसार, चांदी की वैश्विक औद्योगिक मांग में 55 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि हुई है.
 
यह वृद्धि ऑटोमोटिव, टेक्नोलॉजी, फार्मास्यूटिकल्स और सौर ऊर्जा जैसे क्षेत्रों में इसके बढ़ते एप्लीकेशन की वजह से देखी गई है.
 
रिपोर्ट में कहा गया कि उद्योग चांदी पर निर्भर हैं, इसलिए इसके प्रति आकर्षण बढ़ा है.
 
जीरोधा फंड हाउस के सीईओ विशाल जैन ने कहा, "चांदी में निवेश पोर्टफोलियो और आधुनिक उद्योगों दोनों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने की क्षमता है."
 
उन्होंने कहा कि चांदी ईटीएफ किसी के पोर्टफोलियो में विविधता लाने और धातु की अनोखी विशेषताओं का लाभ उठाने के लिए एक मूल्यवान टूल है.