ब्रिटेन गॉट टैलेंट में असम की बेटी ने रचा इतिहास, रनर-अप बन बढ़ाया देश का मान

Story by  एटीवी | Published by  [email protected] | Date 02-06-2025
Assam's daughter created history in Britain's Got Talent, became the runner-up and brought glory to the country
Assam's daughter created history in Britain's Got Talent, became the runner-up and brought glory to the country

 

आवाज द वाॅयस/ नई दिल्ली/गुवाहाटी

असम के पर्वतीय ज़िले कार्बी आंगलोंग के छोटे से गांव तालबालीजान की 9 वर्षीय बिनीता चेथरी ने ‘ब्रिटेन गॉट टैलेंट 2025’ में तीसरा स्थान (सेकंड रनर-अप) हासिल कर भारत और खासतौर पर पूर्वोत्तर के लिए गौरव का क्षण रच दिया है. बिनीता पहली भारतीय प्रतिभागी बनीं, जिन्होंने इस अंतरराष्ट्रीय मंच के फिनाले तक का सफर तय किया.
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 ग्रैंड फिनाले में ब्रिटिश जादूगर हैरी मोल्डिंग ने प्रतियोगिता जीती, जबकि LED डांस ग्रुप 'द ब्लैकआउट्स' को दूसरा स्थान मिला.असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने इस अवसर पर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर बिनीता को बधाई देते हुए लिखा:“गौरव की राह पर नृत्य करती हमारी बिनीता चेथरी को #BGTFinal में तीसरा स्थान हासिल करने पर ढेरों बधाइयां.उनकी प्रस्तुतियों ने ब्रह्मपुत्र से लेकर थेम्स तक सबको मोहित कर दिया है। हम सब को गर्व है.”

बिनीता ने भी एक वीडियो संदेश में मुख्यमंत्री सरमा को धन्यवाद देते हुए कहा कि वह उनसे व्यक्तिगत रूप से मिलकर आभार व्यक्त करना चाहती हैं.तालबालीजान गांव निवासी बिनीता के पिता अमर चेथरी एक छोटे स्तर का ब्रॉयलर चिकन फार्म चलाते हैं और सामाजिक कार्यों में भी सक्रिय रहते हैं.

उनकी बेटी की प्रतिभा को पहचानकर उन्होंने पहले गुवाहाटी और फिर जयपुर में नृत्य प्रशिक्षण की व्यवस्था की, जिसमें उनकी बहन अमृता देवी और कोरियोग्राफर हार्दिक रावत ने मार्गदर्शन किया.

‘ब्रिटेन गॉट टैलेंट बिनीता चेथरी सपोर्ट ग्रुप’ के समन्वयक नंदा किरणी देवान ने बताया कि बिनीता की जटिल कोरियोग्राफ़ी, खासकर बैकफ्लिप्स जैसी शारीरिक क्षमता वाली प्रस्तुतियों ने जजों और दर्शकों को बार-बार खड़े होकर तालियां बजाने पर मजबूर कर दिया.

बिनीता की इस ऐतिहासिक यात्रा में कार्बी आंगलोंग स्वायत्त परिषद (KAAC) के मुख्य कार्यकारी सदस्य तुलीराम रोंगहांग ने 5 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी.
साथ ही स्थानीय विधायक एवं असम विधानसभा के डिप्टी स्पीकर डॉ. नुमाल मोमिन ने भी हर स्तर पर सहयोग प्रदान किया.
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बिनीता ने बीजीटी के आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल पर एक वीडियो जारी कर कहा:“ब्रिटेन, भारत, नेपाल, भूटान और पूरे एशिया से मिले समर्थन और वोट्स के लिए मैं आभारी हूं.आप सबकी दुआओं और हौसले ने मुझे इस वैश्विक मंच तक पहुंचने की ताक़त दी.”

बिनीता चेथरी की यह उपलब्धि सिर्फ एक व्यक्तिगत सफलता नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक प्रतीक बनकर उभरी है.यह जीत उस भारत की है, जहां दूरस्थ गांवों से निकलकर बच्चे विश्व मंचों पर नृत्य और कला के माध्यम से देश का नाम रोशन कर रहे हैं.

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यह पूर्वोत्तर भारत की उस अनदेखी प्रतिभा की पहचान है, जो अक्सर राष्ट्रीय मुख्यधारा से छूट जाती है.बिनीता की कहानी परिश्रम, समर्थन और आत्मविश्वास की प्रेरक मिसाल है.

उन्होंने यह साबित कर दिया कि प्रतिभा किसी भूगोल या संसाधन की मोहताज नहीं होती.भारत को अब केवल क्रिकेट, टेक्नोलॉजी या अंतरिक्ष में नहीं, बल्कि डांस जैसे मंचों पर भी वैश्विक पहचान मिल रही है – और उसमें एक छोटी असमिया बेटी का बड़ा योगदान है.