ढाका
बांग्लादेश में एक कार्यकर्ता की मौत के बाद भड़की हिंसा के बीच राजधानी ढाका के कावरान बाज़ार इलाके में स्थित प्रमुख अंग्रेज़ी दैनिक द डेली स्टार के कार्यालय से कम से कम 25 पत्रकारों को चार घंटे से अधिक समय बाद सुरक्षित बाहर निकाला गया। स्थानीय मीडिया बीडी न्यूज़ के अनुसार, शुक्रवार तड़के गुस्साई भीड़ ने अख़बार के दफ्तर पर हमला किया था।
रिपोर्ट के मुताबिक, भीड़ रात करीब 12 बजे अख़बार के दफ्तर के बाहर जमा हुई। इससे पहले प्रदर्शनकारियों ने बंगाली दैनिक प्रथम आलो के कार्यालय पर नारेबाज़ी करते हुए हमला किया, जहां तोड़फोड़ के बाद आग लगा दी गई। इसके बाद हमलावरों ने द डेली स्टार के कार्यालय को निशाना बनाया।
द डेली स्टार के दफ्तर की ग्राउंड और पहली मंज़िल में तोड़फोड़ के बाद करीब 12:30 बजे आग लगा दी गई, जिसने देखते ही देखते दो मंज़िलों को अपनी चपेट में ले लिया। आग से उठते घने धुएं के कारण भीतर फंसे पत्रकारों की हालत बिगड़ने लगी। अख़बार की एक रिपोर्टर ज़ायमा इस्लाम ने भीतर से संदेश भेजते हुए लिखा, “मैं सांस नहीं ले पा रही हूं, बहुत धुआं है, मैं अंदर फंसी हूं।”
आग लगने के बाद पूरी नाइट शिफ्ट जान बचाने के लिए छत पर चली गई और फोन कॉल व सोशल मीडिया के ज़रिए मदद की गुहार लगाती रही। हालांकि, भीड़ द्वारा रास्ता रोके जाने के कारण दमकल विभाग को मौके पर पहुंचने में देरी हुई। बाद में दमकल कर्मियों ने करीब 2 बजे आग पर काबू पा लिया।
इसके बावजूद पत्रकारों को तुरंत बाहर नहीं निकाला जा सका, क्योंकि आग बुझने के बाद भी भीड़ ने इमारत में घुसने की कोशिश की। हालात को देखते हुए सेना की तैनाती की गई। बाद में सैनिकों की निगरानी में पत्रकारों को सुरक्षित बाहर निकाला गया। इस दौरान न्यू एज के संपादक नूरुल कबीर, जो भीड़ से बात करने पहुंचे थे, उनके साथ भी मारपीट की खबर है।
यह घटनाक्रम ऐसे समय में हुआ, जब बांग्लादेश के मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस ने देशवासियों से शांति बनाए रखने और जांच एजेंसियों को पेशेवर ढंग से काम करने देने की अपील की थी। उन्होंने कहा था कि सरकार कानून के राज और लोकतांत्रिक मूल्यों के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध है।