नई दिल्ली
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि भारत रूस के साथ अपनी "समय की कसौटी पर खरे उतरे" साझेदारी को और मजबूत कर रहा है। उन्होंने एके-203 राइफलों और ब्रह्मोस मिसाइलों के निर्माण के लिए मॉस्को के साथ चल रहे रक्षा सहयोग को भी रेखांकित किया।
प्रधानमंत्री की यह टिप्पणी अमेरिका द्वारा भारतीय वस्तुओं पर 25 प्रतिशत शुल्क लगाने और नई दिल्ली के रूसी तेल खरीदने पर 25 प्रतिशत जुर्माना लगाने के कुछ ही हफ़्तों बाद आई है।प्रधानमंत्री ग्रेटर नोएडा में आयोजित उत्तर प्रदेश अंतर्राष्ट्रीय व्यापार शो 2025 के तीसरे संस्करण को संबोधित कर रहे थे। इस व्यापार शो के लिए रूस कंट्री पार्टनर है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, "इस बार, व्यापार शो का कंट्री पार्टनर रूस है। इसका मतलब है कि हम इस व्यापार शो के माध्यम से एक समय की कसौटी पर खरे उतरे साझेदारी को और मजबूत कर रहे हैं।"
आत्मनिर्भरता और उत्तर प्रदेश की भूमिका
पीएम मोदी ने आगे कहा कि भारत के सशस्त्र बल स्वदेशी समाधान चाहते हैं और बाहरी निर्भरता को कम करने का लक्ष्य रखते हैं। उन्होंने कहा, "भारत में, हम एक जीवंत रक्षा क्षेत्र विकसित कर रहे हैं, एक ऐसा पारिस्थितिकी तंत्र बना रहे हैं जहाँ हर घटक पर 'मेक इन इंडिया' का निशान हो।"
उन्होंने इस परिवर्तन में उत्तर प्रदेश की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि रूसी सहयोग से स्थापित एक फैक्ट्री में जल्द ही एके-203 राइफलों का उत्पादन शुरू होगा। प्रधानमंत्री ने कहा, "उत्तर प्रदेश में एक रक्षा गलियारा भी विकसित किया जा रहा है।
उन्होंने सभी हितधारकों से उत्तर प्रदेश में निवेश करने और विनिर्माण करने का आह्वान किया, क्योंकि यह राज्य लाखों एमएसएमई (सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों) के मजबूत और विस्तारित नेटवर्क का दावा करता है। उन्होंने उन्हें हर संभव समर्थन का आश्वासन भी दिया।
आत्मनिर्भर भारत पर ज़ोर
मोदी ने दोहराया कि वैश्विक व्यवधानों और अनिश्चितता के बावजूद, भारत की विकास दर आकर्षक बनी हुई है।