बारीपदा (ओडिशा)
ओडिशा के मयूरभंज जिले के एक सरकारी उच्च प्राथमिक विद्यालय में विद्यार्थियों को शारीरिक दंड देने के मामले में एक शिक्षिका को निलंबित कर दिया गया है। अधिकारियों ने सोमवार को इस घटना की जानकारी दी।
यह घटना बृहस्पतिवार को खंडादेउला सरकारी उच्च प्राथमिक विद्यालय (बैसिंगा थाना क्षेत्र) में हुई। आरोप है कि सहायक शिक्षिका सुकांति कर ने प्रार्थना सभा के बाद छठी, सातवीं और आठवीं कक्षा के कुल 31 छात्रों को सिर्फ इसलिए पीटा क्योंकि उन्होंने उनका पैर नहीं छुआ।
अधिकारियों के मुताबिक, आमतौर पर विद्यार्थी प्रार्थना के बाद शिक्षकों के पैर छूते हैं। लेकिन उस दिन शिक्षिका प्रार्थना सत्र समाप्त होने के बाद स्कूल पहुंचीं, जिससे बच्चों ने उनका पैर नहीं छुआ। इससे नाराज होकर उन्होंने बांस की छड़ी से बच्चों की पिटाई कर दी।
इस पिटाई से कई छात्रों को हाथ और पीठ पर गंभीर चोटें आईं। जांच में पाया गया कि एक छात्र के हाथ में फ्रैक्चर हो गया, जबकि एक छात्रा बेहोश हो गई, जिसे इलाज के लिए अस्पताल ले जाना पड़ा।
घटना के बाद विद्यालय के प्रधानाध्यापक पूर्णचंद्र ओझा, खंड शिक्षा अधिकारी (बीईओ) बिप्लब कर, संकुल समन्वयक देबाशीष साहू और विद्यालय प्रबंधन समिति ने मिलकर जांच की और शिक्षिका को दोषी पाया।
बीईओ बिप्लब कर ने बताया, "शिक्षिका को शनिवार को निलंबित कर दिया गया है। इस मामले को अत्यंत गंभीरता से लिया गया है।"गौरतलब है कि ओडिशा सरकार ने वर्ष 2004 से सभी शैक्षणिक संस्थानों में शारीरिक दंड पर पूर्ण प्रतिबंध लगा रखा है।