मदनी का बयान देश को भ्रमित करने और मुसलमानों को उकसाने वाला: मुफ्ती शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी

Story by  PTI | Published by  [email protected] | Date 30-11-2025
Madani's statement is misleading the country and provoking Muslims: Mufti Shahabuddin Razavi Barelvi
Madani's statement is misleading the country and provoking Muslims: Mufti Shahabuddin Razavi Barelvi

 

आवाज द वॉयस/नई दिल्ली

 
ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना मुफ्ती शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने जमीयतुल उलमा के अध्यक्ष मौलाना महमूद मदनी के ‘‘जुल्म हुआ तो जिहाद होगा’’ वाले बयान पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि उनका (मदनी) बयान समाज को बांटने, देश को भ्रमित करने और मुसलमानों को भड़काने वाला है।
 
बरेलवी ने कहा कि ‘‘उच्चतम न्‍यायालय ही नहीं बल्कि सभी अदालतों पर मुसलमानों का भरोसा है। संसद जनता के हितों के लिए काम करती है और हमें भरोसा है कि कोई भी सरकार जनता के हितों के खिलाफ काम नहीं करती, हर सरकार संविधान के दायरे में रहकर जनता के जन कल्याण के लिए काम करती है।’’
 
भोपाल में जमीयत उलेमा-ए-हिंद (एमएम) के प्रमुख मौलाना महमूद मदनी ने शनिवार को आरोप लगाया कि देश में एक समूह के ‘वर्चस्व’ को स्थापित करने के लिए ‘‘संगठित प्रयास’’ किए जा रहे हैं, जिनमें बुलडोजर कार्रवाई, भीड़ द्वारा पीट-पीटकर हत्या करना और वक्फ को कमजोर करना शामिल है।
 
जमीयत (एमएम) की कार्यकारिणी बैठक में मदनी ने कहा कि बाबरी मस्जिद फैसले और ऐसे कई दूसरे फैसलों के बाद यह बात जोर पकड़ रही है कि अदालतें सरकारों के दबाव में काम कर रही हैं। उन्होंने कहा कि अगर उच्चतम न्यायालय अपना कर्तव्य नहीं निभाता है तो वह उच्चतम कहलाने का हकदार नहीं है।
 
उन्होंने कहा, ‘‘वक्फ हमारे पुरखों की विरासत है। हम इसे ऐसे जाते हुए नहीं देख सकते।’’
 
मदनी ने आरोप लगाया, ‘‘लेकिन नए कानून से सरकार ने कामकाज और आदर्शों को नुकसान पहुंचाया है।’’
 
जमीयत प्रमुख ने कहा, ‘‘जमीयत ने संयुक्त संसदीय समिति में इसका विरोध किया था। हम यह साफ करना चाहते हैं कि सरकारों को हमारे धार्मिक कामों में दखल नहीं देना चाहिए। हम लड़ेंगे और आखिरी सांस तक लड़ेंगे।’’