तिरुवनंतपुरम/नई दिल्ली
कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने बुधवार को आरोप लगाया कि केरल के दो राज्य-संचालित तकनीकी विश्वविद्यालयों में कुलपति की हालिया नियुक्तियां राज्यपाल और मुख्यमंत्री के बीच मौन समझौते का संकेत देती हैं। उन्होंने कहा कि इससे दोनों के कथित मतभेदों पर सवाल उठते हैं।
वेणुगोपाल ने कहा कि डॉ. सिजा थॉमस को एपीजे अब्दुल कलाम प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय और डॉ. साजी गोपीनाथन को केरल डिजिटल विज्ञान, नवाचार और प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय का कुलपति नियुक्त किए जाने के बीच यह संकेत मिलता है।
उन्होंने दावा किया कि मुख्यमंत्री पिनराई विजयन पहले थॉमस की केरल विश्वविद्यालय में नियुक्ति के विरोध में थे, जबकि राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर ने साजी गोपीनाथ की नियुक्ति पर आपत्ति जताई थी। वेणुगोपाल ने कहा, “अब अचानक दोनों की आपत्तियां गायब हो गईं। क्या ऊपर से कोई निर्देश आया? यह साफ करता है कि उनके बीच ‘अंतर्धारा’ है।”
कांग्रेस महासचिव ने कहा कि ये नियुक्तियां उच्चतम न्यायालय में 19 दिसंबर को होने वाली सुनवाई से कुछ दिन पहले की गई हैं। कोर्ट ने पहले ही कुलपतियों की नियुक्ति में गतिरोध पर संज्ञान लिया था और सेवानिवृत्त न्यायाधीश सुधांशु धूलिया की अध्यक्षता वाली समिति को दोनों पदों के लिए सिफारिश करने का निर्देश दिया था।
इस विवाद का कारण मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच चयन प्रक्रिया और नामों पर असहमति रही। शीर्ष अदालत ने चेतावनी दी थी कि यदि दोनों पक्ष मामला सौहार्दपूर्ण ढंग से हल नहीं करेंगे तो वह इसमें हस्तक्षेप करेगी।