India's resilience in the face of global uncertainty remains due to its strong economic fundamentals: Sitharaman
आवाज द वॉयस/नई दिल्ली
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बृहस्पतिवार को कहा कि बढ़ती वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच भारत के जुझारूपन के पीछे मजबूत वृहद-आर्थिक बुनियादी पहलुओं की अहम भूमिका रही है.
सीतारमण ने बैंक ऑफ महाराष्ट्र के 91वें स्थापना दिवस समारोह में कहा कि बीते वर्ष के दौरान वैश्विक परिदृश्य में अनिश्चितता बढ़ी है और इसका असर कई देशों पर दिख रहा है.
उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन इन परिस्थितियों के बीच में भी भारत की मजबूती सामने आती है। मजबूत आर्थिक आधार, युवा आबादी और घरेलू मांग पर निर्भरता हमारी अर्थव्यवस्था की मुख्य ताकत है,’’
सीतारमण ने बताया कि चालू वित्त वर्ष की अप्रैल-जून तिमाही में भी भारत की मजबूती जारी रही और सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) 7.8 प्रतिशत की दर से बढ़ा.
उन्होंने कहा, ‘‘यह महज संयोग नहीं है. यह सक्रिय राजकोषीय एवं मौद्रिक नीतियों, साहसिक संरचनात्मक सुधारों, बड़े पैमाने पर भौतिक और डिजिटल ढांचे के निर्माण, बेहतर शासन और बढ़ी प्रतिस्पर्धा का नतीजा है.’’
सीतारमण ने अपने संबोधन में अंतरराष्ट्रीय रेटिंग एजेंसियों द्वारा भारत की साख में किए गए हाल के सुधारों का भी उल्लेख किया.
उन्होंने कहा कि अगस्त 2025 में एसएंडपी ने 18 साल बाद भारत की रेटिंग ‘बीबीबी-’ से बढ़ाकर ‘बीबीबी’ कर दी। इसी साल मई में मॉर्निंगस्टार डीबीआरएस ने भी भारत को ‘बीबीबी (लो)’ से ‘बीबीबी’ किया जबकि जापानी एजेंसी आरएंडआई ने भारत की रेटिंग ‘बीबीबी’ से बढ़ाकर ‘बीबीबी प्लस’ कर दी.