ईद उल अजहा पर भाईचारा बनाए रखने को हरियाणा के उलेमा का बड़ा फैसला

Story by  यूनुस अल्वी | Published by  [email protected] | Date 23-06-2023
ईद उल अजहा पर भाईचारा बनाए रखने को हरियाणा के उलेमा का बड़ा फैसला
ईद उल अजहा पर भाईचारा बनाए रखने को हरियाणा के उलेमा का बड़ा फैसला

 

यूनुस अलवी / नूंह  (मेवात / हरियाणा )

ईद उल अजहा के मौके पर किसी का दिल न दुखे और कानून-व्यवस्था बनी रहे, इसके लिए हरियाणा के उलेमा ने बड़ा फैसला लिया है.इस प्रदेश के मेव मुस्लिम बहुल जिला नूंह के खंड पुन्हाना के मदरसा मआरिफुल कुरआन में जमीयत उलामा मुत्ताहिदा पंजाब के महासचिव मौलाना याहया करीमी की अध्यक्षता में जमीयत उलामा ए मेवात की एक अहम मीटिंग हुई, जिसमें  बकरीद को लेकर कई अहम निर्णय लिए गए. साथ ही इस बारे में प्रदेशभर के मुसलमानों को अवगत कराने का भी फैसला लिया गया.

इस मौके पर मौलाना याहया करीमी ने तमाम मुसलमानों से ’ईद उल अजहा के मौके पर गाय की कुर्बानी से परहेज करने की नसीहत दी. उन्होंने कहा कि दीन ए इस्लाम में ईद उल अजहा के मौके पर कुर्बानी करना ना सिर्फ एक अजीम इबादत है, इस्लामी तारीख का एक सुनहरा बाब भी है.
 
इसके अंदर बेशुमार इबरतें और हिकमतें मौजूद हैं. ईद उल अजहा के मौकेे पर हर साहिब ए निसाब बालिग मुसलमान मर्द औरत पर कुर्बानी वाजिब है. मुसलमान निहायत खुशी के साथ कुर्बानी के अमल को अंजाम देते हैं. इस इबादत को अंजाम देने के लिए शरीयत ने मुख्तलिफ जानवरों की फहरिस्त रक्खी है जिसमें से किसी भी जानवर की कुर्बानी के जरिए इस इबादत को अंजाम दिया जा सकता है.
 
 उन्होंने कहा हमारे बहुत सारे हमवतनी भाई गाय से मुतालिक न केवल बड़ी अकीदत रखते हैं, उसे मां समान भी मानते हैं.ऐसे में गाय को छोड़कर दूसरे जानवरों से कुर्बानी करके मुल्क के अमन व अमान की हिफाजत करना हमारा फर्ज है. 
 
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उन्होंने कहा  हरियाणा राज्य में गौ हत्या करने पर सख्त कानून मौजूद है, जिसका हमें लिहाज करना चाहिए. हमें हर ऐसे अमल से बाज रहना चाहिए जिससे इलाके का अमन और भाईचारा खतरे में पड़ जाए और चंद लोगों की नादानी की वजह से पूरी कौम को इसका खामियाजा भुगतना पड़े.
 
 उन्होंने तमाम मुसलमानों से गुजारिश की कि कानून का पालन करें. शरीयत में दी गई दूसरे जानवरों की सहूलत से फायदा उठाते हुए उनकी कुरबानी करें. मौलाना याहया करीमी ने उलामा, मस्जिदों के इमाम और दीगर जिम्मेदारों से गुजारिश है कि वे लोगों को इस सिलसिले में जागरूक करें. इलाके में शांति के माहौल को बरकरार रखने में अपने हिस्से का किरदार निभाएं.
 
इस अहम बैठक में   जमीयत उलामा ए हिंद के तहत संचालित दीनी तालीमी बोर्ड, जमीयत ओपन स्कूल, जमीयत यूथ क्लब, इमारत ए शरिया, इस्लाह ए मुआशरा, मिल्लत फंड वगैरा विभागों को जिला और ब्लॉक स्तर पर कायम करने और उनको एक्टिव व मजबूत बनाने पर गौर किया गया.
 
इसके अलावा बैठक की सदारत कर रहे मौलाना याहया करीमी ने जमीयत उलामा के तामीरी प्रोग्रामों पर अमल कराने के लिए जमात के दायरा ए कार को मोहल्ला और वार्ड स्तर तक बढ़ाने पर जोर दिया.मीटिंग में मौलाना तौफीक कासमी ने ब्लाक पुन्हाना,मौलाना हसन मोहम्मद हिरवाडी ने ब्लाक फिरोजपुर झिरका,मौलाना दिलशाद साहब कासमी ने बलाक तावडू और मौलाना महबूब साहब ने ब्लाक नगीना की रिपोर्ट पेश की.
 
मीटिंग का आगाज कारी मोहम्मद राशिद की तिलावत से हुआ. समापन ’हजरत मौलाना यहया करीमी की दुआ से. मंच संचालन मुफ्ती सलीम अहमद कासमी साकरस ने किया. मीटिंग के मेजबान कारी मोहम्मद असलम बड़ेडवी अध्यक्ष जमीयत उलामा ए मेवात ने की.
 
इस मौके पर मौलाना राकिब कासमी,मौलाना तय्यब साहब कनसाली,कारी साजिद  तिरवाड़ा,मुफ्ती अब्दुल वाजिद साहब उस्ताद ए हदीस जामिया अफजलुल उलूम महूं,हाफिज मकबूल मौलाना मुस्तफा,हाफिज इसराइल ,मौलाना तालिब कासमी वगैरा मौजूद रहे.