असम में 50 से कम छात्रों वाले मदरसे बंद होंगे !

Story by  मलिक असगर हाशमी | Published by  [email protected] | Date 12-01-2023
असम में 50 से कम छात्रों वाले मदरसे बंद होंगे !
असम में 50 से कम छात्रों वाले मदरसे बंद होंगे !

 

दौलत रहमान / गुवाहाटी

ऑल असम तंजीम मदारिस कौमिया ने सूबे में अधिकांश छोटे मदरसों को खत्म करने का फैसला किया है. तंजीम मदारिस कौमिया ने एक सर्वेक्षण में पाया है कि 400से अधिक गैर-मान्यता प्राप्त मदरसे में 50से भी कम छात्र हैं.

उसकी ओर से कहा गया,हम इन धार्मिक संस्थानों के कामकाज को सुव्यवस्थित करने के लिए छोटे मदरसों (50 से कम नामांकन) को बड़े मदरसों के साथ मिलाने की कोशिश कर रहे हैं. इस क्रम में ऐसे 400 मदरसों में से 40 से अधिक को पहले ही बड़े मदरसों में समायोजित कर दिया गया है.

विलय के लिए बाकी मदरसों के संपर्क में हैं. इसके अलावा कतिपय छोटे मदरसे स्थानीय लोगों की धार्मिक भावना के कारण बड़े मदरसों में विलय से कतरा रहे हैं.प्राधिकरण ऐसे मदरसों से चतुराई और सावधानी से निपटेगा.

 

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ऑल असम तंजीम मदारिस के महासचिव मौलाना अब्दुल कादिर कासिमी ने आवाज द वॉयस को बताया, छोटे मदरसे को बड़े मदरसों में समायोजित करने से राज्य में मदरसों की बढ़ती संख्या पर अंकुष लगेगी. वह स्वीकारते हैं कि जब भी मदरसों का विकास होता है, असामाजिक तत्व हमेशा फायदा उठाने की कोशिश करते हैं.

ऑल असम तंजीम मदारिस कौमिया के अलावा, ऑल असम तालीमी तरक्की बोर्ड, अल हाफिज, अदारा मदारिस इस्लामिया और तीन अन्य बोर्ड राज्य में निजी धार्मिक मदरसे चला रहे हैं.कासिमी ने कहा कि ऑल असम तंजीम मदारिस कौमिया की सोमवार को कार्यकारी की बैठक में राज्य के मदरसों में विभिन्न सुधार उपायों को शुरू करने का फैसला किया.

उन्होंने कहा कि प्रभावी निगरानी के लिए मदरसों को एक ही बोर्ड से संबद्ध करना होगा. उदाहरण के लिए ऑल असम तंजीम मदारिस कौमिया से संबद्ध मदरसा अल हफीज या समायरा मदारिस इस्लामिया जैसे अन्य बोर्डों के साथ खुद को शामिल नहीं कर सकते.

उल्लेखनीय है कि नए साल 2023 के पहले दिन असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने घोषणा की थी कि उनकी सरकार ने राज्य में मदरसा शिक्षा को आधुनिक और तर्कसंगत बनाने के लिए मुस्लिम समुदाय को शामिल करने का फैसला किया है. उन्होंने कहा कि पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) भास्कर ज्योति महंत के निर्देशन में असम पुलिस मदरसा शिक्षा को युक्तिसंगत बनाने के लिए मुस्लिम समुदाय से संपर्क में है.

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दूसरी ओर, डीजीपी भास्कर ज्योति महंत ने हाल में राज्य में ऐसे संस्थानों के कामकाज को सुव्यवस्थित करने के लिए विभिन्न निजी मदरसों के प्रतिनिधियों के साथ महत्वपूर्ण बैठक की थी. यहां असम पुलिस मुख्यालय में 25 दिसंबर, 2022 को हुई बैठक में निजी मदरसों द्वारा अपनी शिक्षा के आधुनिकीकरण के बारे में जानकारी दी थी.

योजना के तहत निजी मदरसों की विस्तृत जानकारी और रिकॉर्ड रखने के लिए जल्द ही एक पोर्टल शुरू किया जाएगा. मदरसों के मालिकों को अपने संस्थानों की जानकारी पोर्टल में अपलोड और अपडेट करनी होगी. मदरसों के शिक्षकों की पृष्ठभूमि, शिक्षकों के वेतन के स्रोत और अन्य फंड, कुल भूमि क्षेत्र जैसी जानकारी पोर्टल पर उपलब्ध करानी होगी.

25 दिसंबर की बैठक में तंजीम मदारिस कौमिया और तंजीम बोर्ड जैसे एकल शीर्ष निकाय को सभी अपंजीकृत निजी मदरसों को अपने अधिकार क्षेत्र में लाने की नसीहत दी गई थी.