'पीएम गति शक्ति' को 3 साल पूरे, इन्फ्रास्ट्रक्चर को मिली रफ्तार

Story by  आवाज़ द वॉयस | Published by  [email protected] | Date 13-10-2024
'PM Gati Shakti' completes 3 years, infrastructure gains momentum
'PM Gati Shakti' completes 3 years, infrastructure gains momentum

 

नई दिल्ली

देश के इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास की रफ्तार को बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार द्वारा शुरू किए गए 'पीएम गति शक्ति नेशनल मास्टर प्लान' (पीएमजीएस - एनएमपी) को तीन साल पूरे हो चुके हैं. इसे मोदी सरकार ने 13 अक्टूबर, 2021 को लॉन्च किया था. 

'पीएम गति शक्ति' योजना को केंद्र सरकार ने रेलवे, सड़क, पोर्ट, वाटरवे, एयरपोर्ट्स, परिवहन और लॉजिस्टिक्स इन्फ्रास्ट्रक्चर के तेज विकास के लिए शुरू किया था. इसका उद्देश्य सरकारी विभागों और मंत्रालयों के बीच समन्वय बनाकर किसी परियोजना की सटीक योजना बनाना और उसे तेज गति से पूरा करना है.

मौजूदा समय में 'पीएम गति शक्ति नेशनल मास्टर प्लान' पोर्टल पर 44 केंद्रीय मंत्रालय और 36 राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों की सरकार हैं. पीएम गति शक्ति आने से देश के इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास की गति को बड़ा बूस्ट मिला है.

इस पोर्टल पर 1,600 से अधिक डेटा लेयर हैं, जो कि सरकारी विभागों की इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट को किफायती बनाने में मदद करती हैं. मौजूदा समय में इसमें 533 से ज्यादा प्रोजेक्ट मैप हो चुके हैं.

पीएम गति शक्ति के तहत होने वाली नेटवर्क प्लानिंग ग्रुप मीटिंग में अब तक 15.48 लाख करोड़ रुपये के मूल्य के 213 प्रोजेक्ट्स का मूल्यांकन किया जा चुका है. पीएम गति शक्ति नेशनल मास्टर प्लान का उपयोग करके अब तक 8,891 किलोमीटर की सड़कें और 27,000 किलोमीटर के रेलवे ट्रैक बनाने की योजना बनाई जा चुकी है.

इसकी मदद से लेह (लद्दाख) से कैथल (हरियाणा) तक 13 गीगावाट के ग्रीन एनर्जी प्रोजेक्ट को ग्रीन एनर्जी कॉरिडोर के मुताबिक संरेखित किया गया है. पीएम गति शक्ति के तीन साल पूरे होने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया पर लिखा, "गति शक्ति की बदौलत देश विकसित भारत के हमारे सपने को पूरा करने के लिए गति के साथ आगे बढ़ रहा है.

यह प्रगति, उद्यमशीलता और नवाचार को प्रोत्साहित करेगा." इसके अलावा, उन्होंने दूसरे पोस्ट में लिखा, "पीएम गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान भारत के बुनियादी ढांचे में क्रांति लाने के उद्देश्य से एक परिवर्तनकारी पहल के रूप में उभरा है.

इसने मल्टीमॉडल कनेक्टिविटी को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाया है, जिससे सभी क्षेत्रों में तेज और अधिक कुशल विकास हुआ है. इसने लॉजिस्टिक्स को बढ़ावा दिया है, देरी कम हुई है और कई लोगों के लिए नए अवसर पैदा हुए हैं."