नई दिल्ली
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शुक्रवार को कहा कि पाकिस्तान को यह स्पष्ट रूप से समझने की जरूरत है कि आजादी के बाद से भारत के खिलाफ आतंकवाद का जो "खतरनाक खेल" वह खेल रहा है, वह खत्म हो चुका है. गोवा के पास विमानवाहक पोत आईएनएस विक्रांत पर नौसेना के योद्धाओं के साथ बातचीत में सिंह ने इस्लामाबाद को कड़ी चेतावनी देते हुए कहा कि भारत आतंकवाद से निपटने के लिए उन तरीकों का इस्तेमाल करने में संकोच नहीं करेगा, जिनके बारे में पाकिस्तान सोच भी नहीं सकता. उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर सिर्फ सैन्य कार्रवाई नहीं है, बल्कि आतंकवाद के खिलाफ भारत का सीधा हमला है.
उन्होंने कहा, "हम आतंकवाद के खिलाफ हर वह तरीका अपनाएंगे, जिसके बारे में पाकिस्तान सोच सकता है, लेकिन हम उन तरीकों का इस्तेमाल करने में भी संकोच नहीं करेंगे, जिनके बारे में पाकिस्तान सोच भी नहीं सकता." रक्षा मंत्री ने कहा कि पाकिस्तान के हित में होगा कि वह अपनी धरती पर चल रहे "आतंकवाद के नर्सरी" को जड़ से उखाड़ फेंके. उन्होंने कहा, "पाकिस्तान की धरती से भारत विरोधी गतिविधियां खुलेआम चल रही हैं. भारत सीमा और समुद्र के इस पार और उस पार आतंकवादियों के खिलाफ किसी भी तरह का ऑपरेशन करने के लिए पूरी तरह स्वतंत्र है." उन्होंने कहा, "आज पूरी दुनिया भारत के अपने नागरिकों को आतंकवाद से बचाने के अधिकार को स्वीकार कर रही है. आज दुनिया की कोई भी ताकत भारत को यह काम करने से नहीं रोक सकती."
सिंह ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारतीय नौसेना की भूमिका की भी सराहना की. उन्होंने कहा, "भारतीय नौसेना ने अपनी मौन सेवा से हर भारतीय को प्रभावित किया है. मौन रहकर भारतीय नौसेना ने पाकिस्तानी सेना को बांधे रखने में सफलता पाई." उन्होंने कहा कि जब भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तानी धरती पर आतंकी ठिकानों को नष्ट किया, तो अरब सागर में भारतीय नौसेना की आक्रामक तैनाती ने पाकिस्तानी नौसेना को उसके अपने तटों तक ही सीमित कर दिया. उन्होंने पूरे ऑपरेशन के बारे में कहा, "हमारा हमला इतना शक्तिशाली था कि पाकिस्तान पूरी दुनिया से भारत को रोकने की गुहार लगाने लगा." उन्होंने कहा कि हमने बहुत कम समय में ही पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों और उसके इरादों को ध्वस्त कर दिया. उन्होंने कहा कि जिस तेजी, गहराई और स्पष्टता के साथ हमारे सशस्त्र बलों ने काम किया, वह उल्लेखनीय है. उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर ने न केवल आतंकवादियों को बल्कि उन्हें पालने वाले उनके संरक्षकों को भी स्पष्ट संदेश दिया है. रक्षा मंत्री ने कहा कि हमने अपनी शर्तों पर अपनी सैन्य कार्रवाइयां रोक दी हैं.