सऊदी अरबः अप्रवासी शुल्क के कारण 10 लाख से अधिक विदेशियों ने छोड़ा मुल्क

Story by  राकेश चौरासिया | Published by  [email protected] | Date 19-01-2022
सऊदी अरबः अप्रवासी शुल्क के कारण 10 लाख से अधिक विदेशियों ने छोड़ा मुल्क
सऊदी अरबः अप्रवासी शुल्क के कारण 10 लाख से अधिक विदेशियों ने छोड़ा मुल्क

 

रियादः सऊदी अरब साम्राज्य में 2018 की शुरुआत से 2021 की तीसरी तिमाही के अंत तक 45 महीने की अवधि के दौरान, कुल दस लाख से अधिक विदेशी श्रमिकों ने अपनी नौकरी छोड़ दी.

सऊदी मीडिया के मुताबिक, कर्मचारियों की यह संख्या देश में कुल विदेशी कर्मचारियों की संख्या का 10 प्रतिशत है. सऊदी मीडिया के अनुसार, बड़ी संख्या में विदेशी कर्मचारियों के नौकरी छोड़ने का मुख्य कारण 2018 में शुरू होने वाले अप्रवासी शुल्क लागू होना है.

ध्यान दें कि सऊदी अरब ने 2018 में एक निश्चित मासिक शुल्क पेश किया है, जिसे एक्सपैट शुल्क या अप्रवासी शुल्क कहा जाता है, जिसका भुगतान कंपनी द्वारा वर्क परमिट (निवास) के विस्तार पर किया जाता है, जहां ये विदेशी कर्मचारी काम करते हैं.

रिपोर्ट्स के मुताबिक, वर्ष 2018 के दौरान विदेशी कर्मचारी प्रति विदेशी कर्मचारी 400 रियाल और कंपनियों के लिए 300 रियाल प्रति कर्मचारी था, जिसमें सऊदी नागरिकों और विदेशी कर्मचारियों की संख्या बराबर है, जबकि 2019 में यह राशि बढ़कर 600 रियाल और 800 रियाल हो गई.

सऊदी मीडिया के अनुसार, 2017 के अंत तक देश में विदेशी कर्मचारियों की संख्या 10 मिलियन से अधिक थी. हालांकि, अप्रवासी शुल्क की शुरूआत के बाद, यह संख्या प्रत्येक गुजरते साल के साथ घटने लगी. 2021 में यह संख्या लगभग 9 मिलियन तक पहुंच गई थी.

इसी अवधि के दौरान, सऊदी पुरुष और महिला कर्मचारियों की संख्या में लगभग 179,000 की वृद्धि हुई, जिससे सऊदी कर्मचारियों की कुल संख्या 33.4 मिलियन हो गई, जबकि 2017 के अंत में यह 3.16 मिलियन थी. इसके अलावा, जनरल ऑर्गनाइजेशन फॉर सोशल इंश्योरेंस में शामिल होने के बाद इसी अवधि के दौरान सऊदी पुरुष और महिला कर्मचारियों की संख्या में 7.73 प्रतिशत की वृद्धि हुई.