यूनेस्को की प्रमुख बैठक के लिए लाल किले में भारत की अमूर्त विरासत का प्रदर्शन

Story by  PTI | Published by  [email protected] | Date 07-12-2025
India's intangible heritage showcased at Red Fort for key UNESCO meeting
India's intangible heritage showcased at Red Fort for key UNESCO meeting

 

आवाज द वॉयस/नई दिल्ली

 
 भारत ने रविवार शाम लाल किला परिसर में यूनेस्को की एक महत्वपूर्ण बैठक के उद्घाटन समारोह के दौरान अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का प्रदर्शन किया, जिसमें विषय आधारित प्रदर्शनी दीर्घाओं (गैलरी) से लेकर मंचीय कलाओं को शामिल किया गया। यह बैठक ‘अमूर्त विरासत के संरक्षण’ पर केंद्रित है।
 
विदेश मंत्री एस जयशंकर इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होंगे। अमूर्त सांस्कृतिक विरासत की सुरक्षा के लिए अंतर-सरकारी समिति (आईसीएच) का 20वां सत्र आठ से 13 दिसंबर तक लाल किले में आयोजित होगा।
 
यह पहली बार है, जब भारत यूनेस्को पैनल के किसी सत्र की मेजबानी कर रहा है। उद्घाटन समारोह में केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, यूनेस्को के महानिदेशक खालिद अल-एनानी, दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता और यूनेस्को में भारत के राजदूत एवं स्थायी प्रतिनिधि विशाल वी शर्मा शामिल हुए।
 
यूनेस्को के मुताबिक, इस सत्र में यूनेस्को की आईसीएच सूचियों में शामिल किए जाने के लिए सदस्य देशों की ओर से पेश नामांकनों की जांच की जाएगी, मौजूदा तत्वों की स्थिति की समीक्षा की जाएगी और अमूर्त सांस्कृतिक विरासत की सुरक्षा के लिए अंतरराष्ट्रीय सहायता प्रदान की जाएगी।
 
विशाल वी शर्मा सत्र की अध्यक्षता करेंगे। कार्यक्रम स्थल पर पहुंचते ही अतिथियों का स्वागत पारंपरिक मैसुरु टोपी और पटके (गमछा या दुपट्टा) से किया गया। बाहर कलाकारों ने पंजाब के भांगड़ा, असम के बिहू और आदिवासी नृत्य की प्रस्तुतियां दीं।