ये त्योहार लाता है ख़ुशियों की बहार. अल्लाह से जो रखे वास्ता, उसे देता है नेमत अपार.

हर ख्वाहिश हो मंजूर तुम्हारी, कुर्बानी कुबूल हो तुम्हारी. ईद-उल-अजहा की हो दिल से बधाई, रहमतें बरसें हर सुबह और शाम पर तुम्हारी.

जो झुका अल्लाह के आगे, वो सबसे बड़ा है. जो दिया अल्लाह के लिए, वो कुर्बानी सच्चा है.

मीठे पल, मीठे एहसास, कुर्बानी में छिपा है ख़ास विश्वास. रब से जो रखे दिल का रिश्ता, हर दुआ हो जाए पास.

खुशियों से भरी हो आपकी ज़िन्दगी, हर कदम पर रहे अल्लाह की बंदगी. कुर्बानी का जज़्बा हो दिल में सदा, ऐसी हो बकरीद की ईद आपके लिए ख़ास सदा.

अल्लाह आपके घर को रहमतों, बरकतों और खुशियों से भर दे. आपकी कुर्बानी क़ुबूल हो और ज़िंदगी में सुकून और कामयाबी अता हो.

कुर्बानी का पैग़ाम है, भलाई की बात है, बकरीद का ये जश्न, अल्लाह की सौग़ात है!"

यह त्योहार सिर्फ जानवर काटने का नहीं, बल्कि अल्लाह के प्रति समर्पण, ईमान, और त्याग की भावना का प्रतीक है.

click here to new story