पैगंबर मोहम्मद मामले में उपराष्ट्रपति नायडू का कतर में ’डैमेज कंट्रोल’

Story by  मलिक असगर हाशमी | Published by  [email protected] • 1 Years ago
डैमेज कंट्रोल: उपराष्ट्रपति नायडू ने कतर में भारतीय समुदाय को बताया दो देशों का ‘जीवित पुल‘
डैमेज कंट्रोल: उपराष्ट्रपति नायडू ने कतर में भारतीय समुदाय को बताया दो देशों का ‘जीवित पुल‘

 

मलिक असगर हाशमी/नई दिल्ली
 
पैगंबर मोहम्मद साहब पर भारतीय जनता पार्टी के दो नेताओं द्वारा की गई' अभद्र टिप्पणी से अरब देशों में मचे खलबली के बीच उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने ‘डैमेज कंट्रोल’ की कोशिश की है.उन्होंने कतर के प्रवासी भारतीयों को दो देशों का जीवित पुल बताया. कतर में करीब आठ लाख भारतीय काम करते हैं.

उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू अभी कतर में हैं. अपने प्रवास के दौरान उन्होंने प्रवासी भारतीयों से मुलाकात की. अप्रत्यक्षक तौर पर मौजूदा हालात के बीच उनका हौसला बढ़ाया. उनसे बातचीत में भारत को एक बड़ी आबादी वाला विशाल देश बताया जहां एकता में विविध भाषाएं और संस्कृतियां निवास करती हैं. भारत के लोग शांति और सद्भाव से रहते हैं.
 
उल्लेखनीय है कि भाजपा की प्रवक्ता नूपुर शर्मा और मीडिया प्रभारी नवीन जिंदल के पैगंबर मोहम्मद पर दिए गए हालिया आपत्तिजनक बयान के बाद कतर, यूएई, ओमान, ईरान, सउदी अरब, तुर्की, पाकिस्तान आदि मुस्लिम देशों ने कड़ा विरोध जताया था.
 
यहां तक कि कतर की कई कंपनियों ने विरोध स्वरूप भारतीय मजदूरों को काम से भी हटा दिया और भारतीय उत्पाद का बायकॉट किया. सड़कों पर पीएम मोदी की आपत्तिजनक तस्वीरें लगाई गईं.
 
यही नहीं लगभग सभी देशों ने वहां के भारतीय राजदूत को बुलाकर इस मामले में अपना विरोध जताया. इसके बाद भारतीय जनता पार्टी ने अपने दोनों पदाधिकारियों को पद से हटा दिया है.
 
इस बीच उपराष्ट्रपति का भारत के साथ मुस्लिम देशों के साथ रिश्ता सामान्य करने वाला बयान आया है. उन्होंने कतर प्रवास के दौरान भारतीय प्रवासियों को संबोधित करते हुए कहा, हम सभी को गर्व है कि उन्होंने कतर में 7.80 लाख मजबूत भारतीय समुदाय को स्वीकार किया और उन्हें दोनों देशों के बीच एक जीवित सेतु के रूप में नामित किया. 
 
उन्होंने कहा, ‘‘भारतीय कारोबारी लोग जो व्यापार और आर्थिक साझेदारी को मजबूत कर रहे हैं, भारतीय सशस्त्र बलों के वेटरन्स, जो लगन से भारत की सेवा करने के बाद कतर के लिए अपने अनुभवों के माध्यम से मूल्य जोड़ रहे हैं.‘‘ 
 
उन्होंने दोहा में भारतीय समुदाय के साथ बातचीत में कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा भारत-कतर के बीच संबंध आगे बढ़ाया गया है. भारतीय प्रधानमंत्री ने कतरी नेतृत्व के साथ सक्रिय रूप से जुड़ने में व्यक्तिगत रुचि ली है.
 
एक और बयान में व्यापक ऊर्जा साझेदारी के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि भारत और कतर के बीच रक्षा, सुरक्षा, स्वास्थ्य देखभाल और शिक्षा क्षेत्रों में सहयोग मजबूत हो रहा है.
नायडू की कतर यात्रा के दौरान दोनों देशों के अभिनव पारिस्थितिकी तंत्र को जोड़ने के लिए भारत और कतर के बीच एक स्टार्ट-अप पुल का शुभारंभ किया गया.इस बीच, भारत और कतर ने जल्द ही पूर्ण राजनयिक संबंध स्थापित करने की 50वीं वर्षगांठ मनाने की भी घोषणा की.
 
उन्होंने कहा,‘‘हमारी संवैधानिक वास्तुकला ‘समावेशन‘ की दृढ़ नींव है. उन्हांेने दरअसल यह बताने की कोशिश की कि भारत मंे धर्म को लेकर कोई विभेद नहीं है. उन्होंने कहा कि हमारी सरकार किसी को पीछे नहीं छोड़ती. प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाली वर्तमान सरकार ‘‘सबका साथ, सबका विकास‘‘ में विश्वास करती है. 
 
इसके अलावा, उन्होंने भारतीय समुदाय से जन्मभूमि, भारत के साथ संबंध बनाए रखने का भी आग्रह किया.उन्होंने एक बयान में कहा, ‘‘आपकी कर्मभूमि कतर है और आपको कतर की प्रगति के लिए खुद को समर्पित करना चाहिए. साथ ही अपनी मातृभूमि, भारत को मत भूलना.‘‘
 
उन्होंने कतर में भारतीयों से भारत में हो रहे तेजी से सामाजिक-आर्थिक विकास और परिवर्तन में योगदान देने का आग्रह करते हुए कहा कि हर कोई प्रवासी के कौशल और प्रतिभा से बहुत कुछ हासिल कर सकता है.
 
आइए हम सभी एक नए भारत की दिशा में काम करने का संकल्प लें, जो सभी के साथ विकास के फल साझा करता है और एक संकल्प भारत, सशक्त भारत, आत्मनिर्भर भारत और श्रेष्ठ भारत बनाता है.
 
उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ाने के लिए कतर की तीन दिवसीय यात्रा पर हैं. उन्होंने अपनी तीन देशों की यात्रा के हिस्से के रूप में गैबॉन और सेनेगल का भी दौरा किया, जहां भारत ने गैबॉन में दो समझौता ज्ञापनों और सेनेगल में विभिन्न क्षेत्रों में तीन समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए.
 
इस से दोनों देशों के बीच मधुर और मैत्रीपूर्ण संबंध रेखांकित होंगे.उपराष्ट्रपति के साथ स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री डॉ भारती प्रवीण पवार, सांसद सुशील कुमार मोदी, सांसद विजय पाल सिंह तोमर, सांसद पी. रवींद्रनाथ और वरिष्ठ अधिकारी भी हैं. 
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