Children's Day Special:मजहब से ऊपर उठकर मानवता की सेवा

Story by  ओनिका माहेश्वरी | Published by  onikamaheshwari | Date 14-11-2025
Children's Day Special: What will be the future of Muslim hero children?
Children's Day Special: What will be the future of Muslim hero children?

 

ओनिका आमेश्वरी /नई दिल्ली
 
बहुत समय पहले, एक ऐसी दुनिया में जहां संभावनाएं अनगिनत थीं, कुछ प्रेरणादायक व्यक्तित्वों ने अपनी पूरी ज़िन्दगी बच्चों और युवाओं को सशक्त बनाने के लिए समर्पित की। इन नायकों की कहानियां हमें यह सिखाती हैं कि आप चाहे कहीं से भी आएं, किसी भी चुनौती का सामना करें, या किसी भी पृष्ठभूमि से हों, आप दूसरों के जीवन में बदलाव ला सकते हैं। आइए जानें कुछ ऐसे भारत के मुस्लिम नायकों के बारे में, जिनकी धरोहर आज भी बच्चों को बड़े सपने देखने, सीखने और दूसरों की मदद करने के लिए प्रेरित करती है।

 
1. मौलाना अबुल कलाम आज़ाद: शिक्षा के लिए समर्पित जीवन

भारत के पहले मंत्री शिक्षा और स्वतंत्रता संग्राम सेनानी मौलाना अबुल कलाम आज़ाद का नाम भारतीय इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में लिखा गया है। उनका शिक्षा के प्रति समर्पण इतना था कि उन्होंने भारतीय बच्चों के लिए शिक्षा के द्वार खोलने का बीड़ा उठाया।
 
मौलाना आज़ाद का मानना था कि शिक्षा ही वह उपकरण है, जो किसी भी समाज को प्रगति की दिशा में ले जाता है। उनका सपना था कि भारत का हर बच्चा शिक्षा प्राप्त करे और समाज में समानता हो। उनके प्रयासों से ही भारत में ऑल इंडिया रेडियो की स्थापना हुई और उन्होंने आईआईटी (IIT) की स्थापना के बारे में भी विचार किया, जिससे भारत में तकनीकी शिक्षा को एक नई दिशा मिली।
 
उनकी कहानी बच्चों को यह सिखाती है कि शिक्षा से ही हम अपने सपनों को साकार कर सकते हैं, और हमारे पास दुनिया को बेहतर बनाने की शक्ति है।
 
 
2. डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम: बच्चों के आदर्श

भारत के पूर्व राष्ट्रपति और वैज्ञानिक डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम, जिन्हें "भारत रत्न" से सम्मानित किया गया, भारत के बच्चों के लिए आदर्श थे। उनका जीवन एक प्रेरणा है, विशेष रूप से उनके बच्चों के प्रति प्यार और उनके लिए शिक्षा के प्रति प्रेरणा देने वाले कार्यों के कारण।
 
डॉ. कलाम का मानना था कि बच्चे राष्ट्र के निर्माण में सबसे अहम कड़ी हैं। उन्होंने हमेशा यह कहा कि "आपका भविष्य आप पर निर्भर है, और यह आपके सपनों को साकार करने की क्षमता पर निर्भर करता है।" उनका "दृढ़ संकल्प और मेहनत" का संदेश आज भी बच्चों को प्रेरित करता है। वे हमेशा बच्चों को उनके सपनों को पूरा करने के लिए प्रेरित करते थे और शिक्षा के महत्व को स्वीकार करते थे।
 
उनकी कहानी हमें यह सिखाती है कि हमारी मेहनत और सच्ची इच्छा से हम किसी भी ऊंचाई को छू सकते हैं।
 
3. हाजी मलिक शाह मुहम्मद: गरीब बच्चों के लिए काम करने वाला महान समाजसेवी

हाजी मलिक शाह मुहम्मद एक महान समाजसेवी थे जिन्होंने अपने जीवन को गरीब बच्चों और कमजोर वर्ग के लोगों की मदद में समर्पित किया। उनका उद्देश्य था कि हर बच्चे को अच्छे स्वास्थ्य और शिक्षा का अवसर मिले, चाहे उसकी जाति या धर्म कुछ भी हो।
 
उन्होंने मदरसा शिक्षा की नींव रखी और विभिन्न प्रोग्राम्स के माध्यम से बच्चों को स्वास्थ्य, शिक्षा और मानवाधिकार के प्रति जागरूक किया। उनकी ये सेवाएँ आज भी जारी हैं और उन्होंने भारत में शिक्षा के क्षेत्र में विशेष योगदान दिया।
 
उनकी कहानी बच्चों को यह सिखाती है कि किसी भी बच्चे को उसकी परिस्थितियों से परे मौका मिलना चाहिए, और हम सबको एकजुट होकर उन्हें शिक्षा और अवसर देने का प्रयास करना चाहिए।
 
 
4. सैयद अहमद खान: मुस्लिम समाज के बच्चों के लिए शिक्षा का ध्वजवाहक

सैयद अहमद खान भारतीय समाज के महान शिक्षाविद थे, जिन्होंने मुस्लिम समुदाय के बच्चों को शिक्षा के लिए प्रेरित किया। उन्होंने मुहम्मदन एंग्लो-ओरिएंटल कॉलेज (अब आगरा विश्वविद्यालय) की स्थापना की और भारतीय मुसलमानों के लिए आधुनिक शिक्षा के मार्ग को प्रशस्त किया।
 
सैयद अहमद खान का मानना था कि शिक्षा से ही समाज में बदलाव आ सकता है। उन्होंने हमेशा यह कहा कि जो बच्चे अच्छे शिक्षित होते हैं, वे समाज की प्रगति में सबसे बड़ा योगदान देते हैं। उनके द्वारा स्थापित कॉलेज और विश्वविद्यालय आज भी शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दे रहे हैं।
 
उनकी कहानी यह सिखाती है कि शिक्षा हर किसी का अधिकार है और हर बच्चे के पास एक बेहतर भविष्य बनाने की क्षमता होती है।
 
 
5. इंदिरा नुई: सामाजिक विकास और शिक्षा के लिए काम करने वाली भारतीय मुस्लिम महिला

इंदिरा नुई, जो कि एक प्रमुख व्यवसायिक नेता और समाजसेवी हैं, ने भारतीय समाज में महिलाओं और बच्चों के लिए कई सकारात्मक बदलाव किए। उनका काम बच्चों के लिए शिक्षा और स्वास्थ्य के मामलों में था, और उन्होंने हमेशा यह सुनिश्चित किया कि कमजोर वर्ग के बच्चों को समान अवसर मिले।
 
उनकी कार्यशैली और दृष्टिकोण ने भारतीय मुस्लिम महिलाओं और बच्चों के लिए सामाजिक न्याय की दिशा में कई सकारात्मक बदलाव किए। उन्होंने यह साबित किया कि मूल्य, मेहनत और सामाजिक जिम्मेदारी से हम अपने समाज को सशक्त बना सकते हैं।
 
जैसा कि दुनिया आगे बढ़ रही है, इन महान मुस्लिम नायकों—मौलाना अबुल कलाम आज़ाद, डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम, हाजी मलिक शाह मुहम्मद, सैयद अहमद खान, और इंदिरा नुई—की कहानियां बच्चों को यह सिखाती हैं कि उनके पास सपने पूरा करने की शक्ति है। जैसे ये नायक थे, वैसे ही आज के बच्चे भी दुनिया बदलने के लिए तैयार हैं।
 
हर बच्चा जिनकी ये कहानियाँ सुनता है, वह यह जानता है कि चाहे वह कहीं से भी हो, वह बदलाव ला सकता है। जैसे मलाला ने शिक्षा के अधिकार के लिए आवाज़ उठाई, वैसे ही दूसरे बच्चे भी दुनिया को एक बेहतर स्थान बनाने के लिए कदम उठा सकते हैं।
 
इन महान नायकों की धरोहर हमें यह याद दिलाती है कि ज्ञान, दया, और एकता से हम एक बेहतर भविष्य बना सकते हैं। हर बच्चा, चाहे वह किसी भी पृष्ठभूमि से हो, वह दुनिया में बदलाव ला सकता है। इन नायकों की कहानियाँ यह सिखाती हैं कि सपने देखने और उन्हें साकार करने की ताकत हर बच्चे में होती है।