संघ प्रमुख के बयान का असर, मुसलमानों के खिलाफ बयानबाजी करने वाला गिरफ्तार

Story by  मलिक असगर हाशमी | Published by  [email protected] | Date 13-07-2021
संघ प्रमुख के बयान दिखा असर, मुसलमानों के खिलाफ आपत्तिजनक बयानबाजी करने वाला गिरफ्तार
संघ प्रमुख के बयान दिखा असर, मुसलमानों के खिलाफ आपत्तिजनक बयानबाजी करने वाला गिरफ्तार

 

मलिक असगर हाशमी / नई दिल्ली
 
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत के बयान का असर दिखने लगा है. हरियाणा के पटौदी में महापंचायत के दौरान मुसलमानों के खिलाफ अनर्गल बयानबाजी करने वाला राम भक्त गोपाल गिरफ्तार कर लिया गया.हालांकि इस महापंचायत में  आपत्तिजनक बातें कहने वाली एक सियासी शख्सियत पर अभी भी पुलिस की कृपा बनी हुई है.
 
बहरहाल, पटौदी महापंचायत में मुसलमानों को लेकर आपत्तिजनक बातें उस दिन कही गईं थीं, जिस दिन संघ प्रमुख मोहन भागवत की ओर से मुसलमानों को राहत पहुंचाने वाला बयान आया था.उल्लेखनीय है कि राम भक्त गोपाल तकरीबन पौने दो वर्ष पहले दिल्ली में सीएए के विरूद्ध चलने वाले धरना-प्रदर्शन के दौरान पुलिस की मौजूदगी में फायरिंग करने पर सुर्खियों में आया था.
 
जामिया मिलिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी के बाहर सीएए को लेकर प्रदर्शन के दौरान फायरिंग करने पर पुलिस ने उसे पकड़ा था. वह एक बार फिर  भड़काऊ भाषण देने के मामले में गिरफ्तार किया गया है. राम भक्त गोपाल पर आरोप है कि उसने हरियाणा के पटौदी महापंचायत में भड़काऊ भाषण दिया. 
 
भड़काऊ भाषण के बाद गुरुग्राम में राम भक्त गोपाल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया था. पुलिस ने अब राम भक्त गोपाल को गिरफ्तार किया है. 4 जुलाई को हरियाणा के पटौदी में रामलीली मैदान में धर्मांतरण और कथित लव जिहाद के खिलाफ एक महापंचायत का आयोजन किया गया था. इस में राम भक्त गोपाल ने एक भड़काऊ भाषण दिया था.
 
महापंचायत के दौरान उसने मुसलमानों के खिलाफ भाषण दिया था. इस दौरान उसने कहा था, “मैं पटौदी से सिर्फ इतनी चेतावनी देना चाहता हूं उन आस्तीन के सांपों को जिहादियों को और आतंकवादी मानसिकता के लोगों को कि जब रामभक्त गोपाल 100 किलोमीटर दूर जामिया में जा सकता है तो पटौती ज्यादा दूर नहीं है.”
 
गोपाल द्वारा दिया गया यह भाषण देखते-देखते वायरल हो गया था. इसके बाद लगातार उसकी गिरफ्तारी की मांग उठ रही थी. ट्विटर पर लोग उसकी गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे.पटौदी की पंचायत वाले दिन ही संघ प्रमुख मोहन भागवत ने गाजियाबाद में डा. ख्वाजा इफ्तिखार अहमद की पुस्तक ‘वैचारिक समन्वय एक व्यावहारिक पहल’ के विमोचन समारोह में मुसलमानों को राहत पहुंचाने वाली बातें कही थीं.
 
उन्होंने स्पष्ट तौर से कहा था कि यदि गोकशी मामले में माॅब लिंचिंग हिंदुत्व नहीं और यदि कोई कहता है कि भारत में एक भी मुसलमान नहीं रहेगा, वह हिंदू नहीं है.’’ संघ की ओर से मुसलमानों के पक्ष में इतना स्पष्ट बयान अब तक नहीं आया था.
मगर पटौदी में मुसलमानों के खिलाफ बयानबाजी के बाद संघ और बीजेपी पर  कार्रवाई करने को लेकर दबाव बढ़ गया. स्थिति ऐसी बन गई कि असमंजस में पड़ी हरियाणा पुलिस कई दिनों तक कार्रवाई नहीं कर पाई. विपक्षी दल भी संघ और बीजेपी पर हमलावर हो गए.
 
हालांकि इस मामले में संघ से तीन दशकों से नाता रखने वाले डाॅ ख्वाजा इफ्तिखार अहमद ने ‘आवाज द वाॅयस’ से विशेष बातचीत में विश्वास दिलाया था कि ऐसे लोगों के खिलाफ आवश्यक कार्रवाई की जाएगी. इसके लिए थोड़ा इंतजार करना होगा. और अब कार्रवाई की गई है.